CG Liquor News: शिक्षा पर भारी शरा
इसको लेकर कुलपति, छात्र संगठनों और
जनप्रतिनिधियों में नाराज़गी है। गत माह यूनिवर्सिटी प्रशासन, छात्र प्रतिनिधि और अन्य सामाजिक संगठनों ने सहायक आबकारी आयुक्त नवनीत तिवारी, कलेक्टर और एसपी को ज्ञापन सौंपकर उक्त शराब दुकान को हटाने की मांग की थी। इस पर सहायक आबकारी आयुक्त नवनीत तिवारी ने आश्वासन दिया था कि दुकान को अन्यत्र शिफ़्ट कर दिया जाएगा। लेकिन एक माह बीत जाने के बाद भी न तो दुकान हटाई गई और न ही नई जगह निर्धारित की जा सकी है।
सरकारी जमीन पास फिर भी निजी व्यक्ति को 40 हजार प्रतिमाह भुगतान
जानकारी के अनुसार, कोनी क्षेत्र में कई सरकारी जमीन खाली हैं, इसके बावजूद आबकारी विभाग द्वारा 40 हज़ार रुपए मासिक किराए पर निजी भवन में दुकान संचालित की जा रही है। इससे न केवल सरकारी राजस्व पर भार पड़ रहा है, बल्कि छात्र-छात्राओं और उनके परिजनों में भी रोष व्याप्त है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि शैक्षणिक संस्थानों के बीच शराब दुकान की मौजूदगी नई पीढ़ी को नशे की ओर धकेल रही है, जिससे उनके भविष्य पर गंभीर असर पड़ सकता है। दुकान शिफ्टिंग में रुचि नहीं लेने से कई तरह से सवाल उठ रहे हैं।
बिलासपुर के सहायक आबकारी आयुक्त नवनीत तिवारी ने कहा की शराब दुकान को हटाने की मांग हो रही है। इसे लेकर विभाग द्वारा इसे शिफ्टिंग की योजना बनाते हुए जगह की तलाश की जा रही है। कुछ स्थान देखे गए हैं, लेकिन वहां भी आपत्ति होने के कारण इस शराब दुकान को शिफ़्ट नहीं किया जा सका। जल्द ही शिफ़्ट करने के लिए नई जगह चयनित की जाएगी।
प्रशासनिक उदासीनता से माहौल हो रहा खराब
प्रशासनिक उदासीनता का यह हाल है कि एक महीने से
अधिकारियों द्वारा केवल आश्वासन दिए जा रहे हैं, जबकि कार्रवाई के नाम पर कोई ठोस पहल नहीं हुई है। अब स्थानीय जनप्रतिनिधि, छात्र संगठन और नागरिक इस मुद्दे को लेकर आंदोलन की चेतावनी देने लगे हैं। लोगों की मांग है कि कोनी क्षेत्र को पूरी तरह से नशामुक्त घोषित किया जाए और जल्द से जल्द शराब दुकान को अन्यत्र स्थानांतरित कर शैक्षणिक वातावरण को सुरक्षित बनाया जाए।