23 अप्रैल को नर्मदा नदी में मिली थी लाश
पुलिस को 23 अप्रैल को निसपुर पुलिस को नर्मदा नदी के मालवाड़ा घाट में एक युवक की लाश मिली थी जिसे पुलिस ने लावारिस समझकर तीन दिन बाद दफना दिया था। इसके तीन दिन बाद 26 अप्रैल को रिश्तेदारों के द्वारा जानकारी मिलने पर एक परिवार थाने पहुंचा और लाश की फोटो में दाहिने हाथ के टैटू और बाएं हाथ की अंगूठी देख मृतक की पहचान गलसिंह मंडलोई उम्र 32 साल निवासी देवरा गांव के तौर पर की थी और इसके बाद शव निकलवाकर परिजन ने गलसिंह का अंतिम संस्कार किया था। गलसिंह की पत्नी ने पुलिस को बताया कि उसका पति 20 अप्रैल की शाम से लापता था और उसने पति की हत्या की आशंका जताते हुए शिकायत सीएम हेल्पलाइन में भी की थी। पहले हनीट्रैप में फंसाया और फिर सुपारी दी..
पुलिस ने मामले की जांच की तो पता चला कि मृतक गलसिंह का अपने ही बड़े भाई से जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। इस आधार पर जब पुलिस ने बारीकी से तफ्तीश की तो चौंका देने वाला खुलासा हुआ। मृतक गलसिंह के बड़े भाई छोटू ने अपनी पत्नी रेखाबाई और परिचित महेन्द की पत्नी सपना के साथ मिलकर मर्डर की प्लानिंग की थी। सपना ने गलसिंह को हनी ट्रैप में फंसाया था और 20 अप्रैल को मिलने के लिए अपने घर बुलाया था जहां उसे शराब पिलाई और फिर सिंघाना रोड खाटूश्याम मंदिर के पास ले जाकर अन्य आरोपियों महेन्द्र, छोटू, उसकी पत्नी रेखा और ढ़ाई लाख रूपये में सुपारी देकर बुलाए अन्य आरोपी के साथ मिलकर उसकी हत्या कर दी थी। आरोपियों ने लाश को वैन से ले जाकर नर्मदा नदी में फेंक दिया था। वारदात में शामिल 9 आरोपियों में से 6 को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है जबकि 3 अब भी फरार हैं।