इन तालाबों के निर्माण से लघु एवं सीमांत कृषक लाभांवित होंगे तथा जल स्तर में वृद्धि होने से जल संकट दूर होगा और आजीविका के नए साधन भी उपलब्ध होंगे। कलेक्टर नेहा मारव्या ने निर्देश दिए कि सभी निर्माण कार्य तय समय-सीमा में गुणवत्ता के साथ पूरे किए जाएं। साथ ही मजदूरी एवं सामग्री की नियमित मूल्यांकन प्रक्रिया पूर्ण कर एफटीओ जारी किए जाएं।
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जिले में 1500 कूपों में जल स्तर बढ़ाने के लिए रिचार्ज संरचना निर्माण का लक्ष्य था, जिसमें अब 1570 कूपों में कार्य स्वीकृत किया जा चुका है। कलेक्टर ने निर्देशित किया कि एक सप्ताह के भीतर सभी कूपों में गुणवत्तापूर्ण रिचार्ज संरचना निर्माण कार्य पूर्ण कर एफटीओ की प्रक्रिया पूर्ण की जाए। जिले में 13 अमृत सरोवर एवं प्रत्येक जनपद पंचायत में कुल 187 सार्वजनिक तालाबों का निर्माण किया जा रहा है। उन्होंने निर्देश दिए कि तालाबों में बंड, पिचिंग और वेस्ट वेयर का निर्माण प्राथमिकता से गुणवत्तापूर्वक किया जाए और इसकी रिपोर्ट समय पर प्रस्तुत की जाए।
कलेक्टर ने दिए निर्देश
कलेक्टर ने निर्देश दिए कि सभी निर्माण कार्यों का नियमित निरीक्षण किया जाए। सहायक यंत्री व उपयंत्री प्राक्कलन के अनुसार कार्य की गुणवत्ता सुनिश्चित करें और सभी जानकारी जनप्रतिनिधियों को भी उपलब्ध कराएं ताकि वे स्थलीय भ्रमण के दौरान कार्यों का अवलोकन कर सकें। बैठक में जिला पंचायत अध्यक्ष रुद्रेश परस्ते, सीईओ जिला पंचायत अनिल कुमार राठौर, मनरेगा परियोजना अधिकारी प्रदीप कुमार शुक्ला सहित सभी जनपद पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारी, सहायक यंत्री, उपयंत्री, अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी तथा सहायक लेखाधिकारी उपस्थित रहे।