पाकिस्तान की एक ना चली, इंडियन एयरफोर्स की मदद से बची सवा दो सौ पैसेंजर की जान
वायु सेना ने कहा इंडिगो के पायलट को जब पाकिस्तान से अनुमति नहीं मिली तो वायु सेना ने उसके तुरंत बाद विमान के श्रीनगर हवाई अड्डे पर उतरने में पूरी मदद की।
श्रीनगर में विमान की हुई इमरजेंसी लैंडिंग (Photo- X @JaikyYadav16)
Indigo: दिल्ली से श्रीनगर जा रही इंडिगो की फ्लाइट 6E-2142 को 21 मई को पठानकोट के पास भीषण ओलावृष्टि और टर्बुलेंस का सामना करना पड़ा। पायलट ने खराब मौसम से बचने के लिए पाकिस्तान के लाहौर एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC) से एयरस्पेस इस्तेमाल करने की अनुमति मांगी, लेकिन पाकिस्तान ने NOTAM A0220/25 के तहत भारतीय विमानों के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद करने का हवाला देते हुए इजाजत नहीं दी। यह NOTAM 23 मई की मध्यरात्रि तक लागू था। बता दें कि इस दौरान विमान में 227 यात्री सवार थे। तब एयरफोर्स की मदद से विमान की श्रीनगर में इमरजेंसी लैंडिंग कराई गई।
वायु सेना ने स्पष्ट किया है कि इंडिगो के दिल्ली से श्रीनगर जा रहे विमान के बुधवार को भीषण तूफान में फंसने के बाद और लाहौर हवाई नियंत्रण कक्ष से सीमा पार करने की अनुमति नहीं मिलने पर उसे श्रीनगर हवाई अड्डे पर सुरक्षित उतरवाने में पूरी मदद की गई।
विमान को श्रीनगर हवाई अड्डे पर उतरने में की मदद
वायु सेना के सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान ने भारतीय विमानों के लिए 23 मई को रात बारह बजे तक अपनी हवाई सीमा बंद कर रखी है। उन्होंने कहा कि इंडिगो के पायलट को जब पाकिस्तान से अनुमति नहीं मिली तो वायु सेना ने उसके तुरंत बाद विमान के श्रीनगर हवाई अड्डे पर उतरने में पूरी मदद की। बता दें कि लैंडिंग के बाद देखा गया कि फ्लाइट का अगला हिस्सा टूट गया था।
आंधी-ओलावृष्टि की चपेट में आया विमान
हालांकि इससे पहले डीजीसीए ने कहा था कि विमान पंजाब के पठानकोट के निकट लगभग 36,000 फुट की ऊंचाई पर उड़ रहा था, तभी आंधी और ओलावृष्टि की चपेट में आ गया। खराब मौसम को लेकर चालक दल ने पहले भारतीय वायु सेना के उत्तरी एटीसी से अनुरोध किया कि वे विमान को अंतर्राष्ट्रीय सीमा की ओर मोड़ने की अनुमति दें।
हालांकि अनुरोध को अस्वीकार कर दिया गया क्योंकि यह महसूस किया गया कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत और पड़ोसी देश के बीच तनाव के कारण विमान को पाकिस्तान की ओर से खतरा हो सकता है। इसके बाद पायलट ने लाहौर हवाई यातायात नियंत्रण (एटीसी) से तूफान से बचने के लिए कुछ समय के लिए पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र में जाने की अनुमति मांगी, लेकिन उसे भी मना कर दिया गया।