स्वामी प्रेमानंद गिरी ने कहा- मेला क्षेत्र की सुरक्षा सेना को सौंप दी जाए
इस घटना के बाद श्रद्धालुओं में गहरा आक्रोश है। अखाड़ा परिषद के महामंडलेश्वर स्वामी प्रेमानंद गिरी ने प्रशासन पर आरोप लगाते हुए कहा कि अधिकारी VIP श्रद्धालुओं की सेवा में लगे रहे, जिससे आम श्रद्धालुओं की सुरक्षा से समझौता हुआ। उन्होंने मेला क्षेत्र की सुरक्षा सेना को सौंपने की मांग की है। प्रशासन ने हादसे की जांच के आदेश दे दिए हैं और मृतकों के परिजनों को मुआवजा देने की घोषणा की है। उन्होंने मांग की कि मेला क्षेत्र की सुरक्षा सेना को सौंप दी जाए।
कांग्रेस ने सरकार पर लगाया लापरवाही और भ्रष्टाचार का आरोप
प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान मौनी अमावस्या स्नान पर भगदड़ से हुई 17 श्रद्धालुओं की मौत को लेकर कांग्रेस ने भाजपा सरकार पर तीखा हमला बोला है। कांग्रेस प्रवक्ता अंशु अवस्थी ने सरकार को सीधे इस हादसे के लिए जिम्मेदार ठहराया और कहा कि प्रशासन की अव्यवस्थाओं और VIP संस्कृति के कारण यह त्रासदी हुई।
‘महाकुंभ बना BJP का प्रचार मंच’
अंशु अवस्थी ने कहा कि महाकुंभ की तैयारियों में लापरवाही बरती गई और सरकार ने श्रद्धालुओं की चिंता करने के बजाय इसे ‘फोटो और वीडियो शूट’ का अड्डा बना दिया’। जिन मंत्रियों की जिम्मेदारी महाकुंभ की व्यवस्थाओं को संभालने की थी, वे सिर्फ निमंत्रण बांटने का नाटक कर रहे थे। अवस्थी ने आरोप लगाया कि महाकुंभ का बजट भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया और श्रद्धालुओं की सुरक्षा की कोई ठोस योजना नहीं बनाई गई।
VIP संस्कृति पर उठाए सवाल
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि जब से महाकुंभ शुरू हुआ है, तब से आम श्रद्धालुओं की तकलीफों को नजरअंदाज कर सिर्फ VIP व्यवस्थाओं पर ध्यान दिया गया। उन्होंने मांग की कि शाही स्नान तक VIP संस्कृति को पूरी तरह बंद किया जाए। अवस्थी ने कहा कि महाकुंभ में संत समाज भी अव्यवस्थाओं से नाराज है और यदि सरकार ने पहले ही सचेतता दिखाई होती, तो यह हादसा टाला जा सकता था। ‘श्रद्धालुओं की आस्था पर सरकार ने पानी फेरा’
उन्होंने कहा कि कांग्रेस पहले दिन से ही सरकार को चेतावनी दे रही थी कि वह प्रचार से ज्यादा व्यवस्थाओं पर ध्यान दे। लेकिन भाजपा सरकार ने श्रद्धालुओं की आस्था के साथ खिलवाड़ किया। उन्होंने मांग की कि सरकार तुरंत व्यवस्थाओं में सुधार करे, VIP स्वागत बंद करे और दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई करे।
अफरा-तफरी और हड़कंप
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, संगम नोज पर अचानक धक्का-मुक्की बढ़ने लगी और लोग संतुलन खो बैठे। सुरक्षा बल हालात संभालने में नाकाम रहे और भगदड़ के कारण कई श्रद्धालु नीचे गिर गए, जिससे कई की दम घुटने या कुचलने से मौत हो गई।