जिला प्रमुख को भी नहीं मिला संतोषजनक जवाब
जिला प्रमुख बलबीर छिल्लर ने शासन सचिव पंचायती राज विभाग जोगाराम को पिछले माह पत्र लिखा था। पत्र में लिखा कि उन्होंने लिपिक भर्ती के संबंध में संबंधित कार्मिकों से चर्चा की थी, लेकिन वह संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए। इससे भर्ती शाखा के कार्मिकों का भर्ती धांधली में शामिल होने का संदेह पुष्ट होता है। उन्होंने इस मामले की जांच राज्य स्तर से कराने के लिए कहा था। उन्होंने सीईओ जिला परिषद को भी पत्र लिखा था। उन्होंने कहा कि संबंधित लिपिक को निलंबित किया जाए। साथ ही भर्ती शाखा प्रभारी को भी कार्यमुक्त किया जाए। लेकिन अब तक यह कार्रवाई विभाग के स्तर से नहीं की गई।वर्ष 2013 लिपिक भर्ती तीन चरणों में की गई थी। 2017 व 2022 में भी हुई। करीब 600 लिपिक भर्ती किए गए थे। प्रशासन की जांच टीम ने 7 लिपिकों की भर्ती में गड़बड़ी पकड़ी है। इसकी रिपोर्ट सरकार को भेजी गई है। बताया जा रहा है कि एक दर्जन से अधिक लोग इस मामले में दोषी हैं, जिन पर बड़ी कार्रवाई की तैयारी है।
मैंने सीईओ से संबंधित लोगों पर कार्रवाई करने के लिए कहा था, लेकिन अब तक नहीं की गई। यह बचाव ठीक नहीं है। जिला परिषद की छवि प्रभावित हो रही है। कार्रवाई करने के लिए फिर से सीईओ को रिमाइंडर दूंगा। –बलबीर छिल्लर, जिला प्रमुख
इस प्रकरण की जांच रिपोर्ट मेरे पास नहीं आई है। जैसे ही सरकार की ओर से कार्रवाई के आदेश आएंगे, उसका पालन किया जाएगा। दोषी बचेंगे नहीं। – रामस्वरूप चौहान, सीईओ जिला परिषद।
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