एक्सपर्ट के मुताबिक 15वें वित्त आयोग के मद से जो काम करने का फैसला लिया जाता है, उसके लिए स्थल परिवर्तन के प्रस्ताव को एमआईसी में लाया जाता है। वहां से पास कर, शासन को भेजा जाता है। वहां से अनुमति मिलने के बाद ही स्थल परिवर्तन हो पाता है।
CG News: पहले यहां बननी थी सड़कें
15 वें वित्त आयोग मद से वार्ड 21 कैलाश नगर बघवा चौक से सन मैरिज पैलेस तक सड़क का निर्माण करना था। इस सड़क की हालत खस्ता है। जगह-जगह गड्ढे हो गए हैं। इसमें थोड़े देर
बारिश होने से पानी भर रहा है। निगम के अधिकारियों ने इस सड़क की खराब हालत को देखने के बाद ही तय किया था कि इस सड़क का निर्माण करना जरूरी है।
दूसरी सड़क वार्ड 23 घासीदास नगर कर्बला मैदान से पीडब्ल्यूडी रोड तक सड़क का निर्माण किया जाना था। यहां के लोग इस सड़क के बनने का इंतजार कर रहे थे। तीसरी सड़क शासकीय स्कूल से जामुल थाना रोड तक डामरीकरण मार्ग का उन्नयन करना शामिल था।
अब यहां करवाने जा रहे कार्य
जोन 2 में अधिकारियों ने स्थल परिवर्तन कर दूसरी जगह सड़क निर्माण का फैसला कर लिया। वार्ड 21 कैलाश नगर मार्ग, वार्ड 22 सांई मंदिर के सामने मुख्य मार्ग का डामरीकरण कार्य और वार्ड 22 कुरूद शीतला तालाब के दक्षिण मार्ग का डामरीकरण किया जाएगा।
यह जांच का विषय है..
जांच का विषय है कि उक्त मामले में तीन सड़कों का स्थल परिवर्तन किस तरह से किया गया है। एक सड़क का निर्माण वहां पर किया जा रहा है जहां अवैध प्लाटिंग की जा रही है। चर्चा है कि अवैध प्लाटिंग करने वाले को लाभ पहुंचाने के लिए नियमों का ताक पर रखकर सड़क का निर्माण किया जा रहा है। क्योंकि सड़क बनने से प्लाट की कीमत बढ़ जाएगी। पत्रिका ने निगम आयुक्त से पूछा- 4 सवाल, नहीं मिला जवाब सवाल : नगर निगम, भिलाई ने अवैध प्लाटिंग पर अब तक कितनी कार्रवाई इस वर्ष में की है। सवाल : जोन-2 वैशाली नगर में अवैध प्लाटिंग के खिलाफ निगम कार्रवाई क्यों नहीं कर रहा है।
सवाल : जोन-2 में अवैध प्लाटिंग स्थल में निगम सड़क निर्माण क्यों कर रहा है। सवाल : इसके पहले यह सड़क जहां बनने वाली थी, वहां से स्थल परिवर्तन किसके कहने पर और किस नियम के तहत किया गया।