मनीष शंकर शर्मा का जन्म 11 मई 1966 को मध्य प्रदेश के होशंगाबाद में हुआ। उनकी उम्र 58 वर्ष थी। उन्होंने इंदौर के डेली कॉलेज से स्कूलिंग और भोपाल स्कूल ऑफ सोशल साइंसेज से ग्रेजुएशन किया। इसके बाद बिड़ला इंस्टीट्यूट, पिलानी से मार्केटिंग में एमबीए भी किया। मनीष शर्मा भारतीय पुलिस सेवा में 1992 बैच के आईपीएस अधिकारी थे।
यह भी पढ़ें- बॉयफ्रेंड के साथ भागकर की इंटरकास्ट मैरिज, घर वालों ने जीवित बेटी का किया पिंडदान, मृत्यु भोज भी करा दिया 1992 बैच के IPS
मनीष शंकर शर्मा भारतीय पुलिस सेवा में 1992 बैच के आईपीएस अफसर थे। उन्होंने मध्य प्रदेश में कई महत्वपूर्ण पदों पर अपनी सेवाएं दी। साल 1997-1998 में उन्होंने संयुक्त राष्ट्र मिशन के तहत बोस्निया और हर्जेगोविना में सेवाएं दीं। यहां उन्होंने स्थानीय पुलिस अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया। साथ ही, मनीष शर्मा सुरक्षा निदेशक और टी-बोर्ड ऑफ इंडिया के निदेशक भी रहे।
कई जिलों में रहे एसपी
मनीष शंकर शर्मा मूल रूप से मौजूदा नर्मदापुरम के रहने वाले थे। उन्होंने मध्य प्रदेश के रायसेन, सतना, छिंदवाड़ा और खंडवा जिलों के एसपी की जिम्मेदारी निभाई है। उनके निधन पर सीएम मोहन यादव ने दुख व्यक्त किया है।
सीएम ने जताया दुख
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने आईपीएस मनीष शंकर शर्मा के निधन पर दुख व्यक्त करते हुए अपने सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर भावुक पोस्ट करते हुए लिखा- ‘मध्य प्रदेश के विशेष पुलिस महानिदेशक, रेल श्री मनीष शंकर शर्मा जी के असामयिक निधन का समाचार अत्यंत दु:खद है। पुलिस सेवा में तत्पर्य एक निष्ठावान, कर्तव्यनिष्ठ और समर्पित अधिकारी का असमय चले जाना निश्चित ही प्रदेश और समाज के लिए एक अपूरणीय क्षति है। ईश्वर दिवंगत पुण्यात्मा को शांति प्रदान करें और शोकाकुल परिवारजनों यह गहन दुःख सहन करने की शक्ति दें, यही प्रार्थना करता हूँ। विनम्र श्रद्धांजलि! ॐ शांति!’
अमेरिका में मनाया जाता है दिवस
आईपीएस मनीष शंकर शर्मा को अमेरिका के कैलिफोर्निया राज्य के सैन डिएगो शहर में विशेष पुरुस्कार से सम्मानित किया गया था। सैन डिएगो के महापौर केविन एल. फॉकनर ने 20 जुलाई को उन्हें सम्मानित किया था। इसके अलावा इस दिन को हर साल ‘मनीष शंकर शर्मा दिवस’ के रूप में मनाने की घोषणा की थी। वहीं, उन्हें यूएस हाउस ऑफ रिप्रजेंटेटिव्स का सर्टिफिकेट ऑफ स्पेशल कांग्रेशनल रिकग्निशन भी दिया गया था।
प्रतिष्ठित परिवार से नाता
मनीष शंकर शर्मा राज्य के प्रतिष्ठित परिवार से आते है। उनके पिता IAS कृपाशंकर शर्मा मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्य सचिव रह चुके हैं। एमपी विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष डॉ सीताशरण शर्मा उनके चाचा हैं। मनीष शर्मा की माता शकुंतला शर्मा महिला आयोग की सदस्य, वनिता समाज की अध्यक्ष, आनंद विहार हायर सेकेंडरी स्कूल की अध्यक्ष,फैमली प्लानिंग एसोसिएशन मध्यप्रदेश की अध्यक्ष और IASOWA की अध्यक्ष रह चुकी हैं। फिलहाल, दिवंगत आईपीएस अधिकारी के परिवार में उनकी पत्नी और दो बेटे हैं।
कई महत्वपूर्ण पदों पर दे चुके सेवा
उन्होंने मध्य प्रदेश में कई महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया। साल 1997-1998 में उन्होंने संयुक्त राष्ट्र मिशन के तहत बोस्निया और हर्जेगोविना में सेवाएं दीं। जहां उन्होंने स्थानीय पुलिस अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया। वे सुरक्षा निदेशक (एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया) और टी-बोर्ड ऑफ इंडिया के निदेशक भी रहे। मनीष शंकर शर्मा ने मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा, खंडवा, सतना और रायसेन जिलों में एसपी के रूप में भी कार्य किया।
विशेष पुरस्कार से सम्मानित
आईपीएस मनीष शर्मा को उनके जीवन में कई सम्मानों से नवाजा गया। उन्हें अमेरिका के कैलिफोर्निया राज्य के सैन डिएगो शहर में विशेष पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। सैन डिएगो के महापौर केविन एल. फॉकनर ने 20 जुलाई को उन्हें सम्मानित करते हुए इस दिन को हर साल ‘मनीष शंकर शर्मा दिवस’ के रूप में मनाने का ऐलान किया था। उन्हें यूएस हाउस ऑफ रिप्रजेंटेटिव्स का सर्टिफिकेट ऑफ स्पेशल कांग्रेशनल रिकग्निशन भी प्रदान किया गया था।
आतंकवाद रोधी विषयों पर था विशेष अनुभव
मनीष शंकर शर्मा ने कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय से अंतरराष्ट्रीय मामलों और सार्वजनिक नीति में पीजी की उपाधि प्राप्त की थी, जिसमें अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा और आतंकवाद रोधी विषयों पर उन्हें विशेष अनुभव था। उनका 25 सालों का इसमें अनुभव रहा है।
अचानक निधन से लगा धक्का
सूत्रों की मानें तो शर्मा का निधन अचानक हुआ, जिससे उनके परिवार और सहकर्मियों को गहरा धक्का लगा है। उनके निधन की खबर मिलते ही मध्य प्रदेश पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा लगातार शोक व्यक्त किया जा रहा है।