थानाधिकारी हरलाल मीणा ने बताया कि करवाला की झोपडिय़ां निवासी मुकुट बिहारी मीणा और उसके छोटे भाई बाबूलाल के बीच लम्बे अर्से से भूमि विवाद को लेकर रंजिश चल रही थी। एक मई को मुकुट बिहारी द्वारा बाड़े में टापरी बनाने को लेकर उसके छोटे भाई बाबूलाल से कहासुनी हो गई। इसके बाद मुकुट बिहारी ने अपने दामाद झालीजी का बराना निवासी रुपनारायण मीणा, बेटी संतोष बाई, एवं दोहिते कुदरत उर्फ कुलदीप व जसवंत उर्फ रणजीत को झगड़ा करने वहां बुला लिया और मुकुट बिहारी, रुपनारायण, संतोष बाई, कुदरत एवं जसवंत ने सरे आम कुल्हाडिय़ों, लकडिय़ों, एवं लोहे के पाइप से करवाला की झोपडिय़ां निवासी बाबूलाल मीणा, उसकी पत्नी द्वारक्या बाई एवं बेटे के साथ मारपीट की गई।
घटना में बाबूलाल के गंभीर चोटें होने से ईलाज के लिए उसे पहले बूंदी चिकित्सालय ले गए जहां उसे कोटा रेफर कर दिया कोटा चिकित्सालय में लगभग एक सप्ताह तक बाबूलाल ने जीवन मौत संघर्ष करते हुए आखिर दम तोड दिया।
पुलिस ने घटना के संबंध में अभियुक्तों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया गया और सभी आरोपी घटना को अंजाम देने के बाद फरार हो गए थे जिन्हें मुखबिरी एवं तकनीकी सहायता से गिरफ्तार किया गया जबकि घटना में संलिप्त महिला अभियुक्त संतोष बाई अभी फरार है जिसे पुलिस सरगर्मी से तलाश करने में जुटी हुई है।
वारदात के मुख्य अभियुक्त बुजुर्ग मुकुट बिहारी मीणा ने मामूली विवाद के चलते अपनी बेटी दामाद एवं दोहितो के साथ मिलकर सगे छोटे भाई का कत्ल करके रिश्ते को कलंकित किया है। मृतक बाबूलाल के तीन बच्चे हैं जो अभी नाबालिग है उसके परिवार में वहीं कमाने वाला था पत्नी द्वारक्या बाई जो हमले में घायल हो गई थी अब उसी पर परिवार को पालने की जिम्मेदारी आ पड़ी।