करुण नायर लौटेंगे कर्नाटक, जितेश बड़ौदा की ओर बढ़े कदम
क्रिकबज़ की रिपोर्ट के अनुसार, करुण नायर अपने होम स्टेट कर्नाटक लौट सकते हैं, जबकि विकेटकीपर-बल्लेबाज़ जितेश शर्मा ने आगामी सीजन के लिए बड़ौदा टीम से जुड़ने का निर्णय लिया है। बड़ौदा क्रिकेट एसोसिएशन (BCA) के सूत्रों ने पुष्टि की है कि उनका ट्रांसफर अगले कुछ दिनों में पूरा हो सकता है।
विदर्भ की कामयाबी में नायर-शर्मा की अहम भूमिका
पिछले सीजन में विदर्भ ने रणजी ट्रॉफी जीतने के साथ-साथ विजय हज़ारे ट्रॉफी (VHT) में रनर-अप और सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी (SMAT) में क्वार्टरफाइनल तक का सफर तय किया था। इस सफर में करुण नायर और जितेश शर्मा ने टीम के लिए कई अहम पारियां और योगदान दिए। करुण नायर ने रणजी ट्रॉफी 2024-25 में शानदार प्रदर्शन करते हुए 863 रन बनाए थे, जो पूरे टूर्नामेंट में चौथी सबसे बड़ी व्यक्तिगत रन संख्या रही। वहीं विजय हज़ारे ट्रॉफी में उन्होंने 779 रन बनाए और सबसे ज़्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज़ बने।
2023-24 सीजन से पहले विदर्भ आए थे नायर
नायर ने 2023-24 सीजन की शुरुआत से पहले कर्नाटक को छोड़ विदर्भ का रुख किया था, लेकिन अब माना जा रहा है कि वे निजी और पारिवारिक कारणों से कर्नाटक लौट सकते हैं। KSCA (कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ) से जुड़े सूत्रों का कहना है कि उनकी वापसी लगभग तय है।
जितेश शर्मा ने SMAT में की थी कप्तानी
जितेश शर्मा ने SMAT में विदर्भ की कप्तानी की, जबकि विजय हज़ारे ट्रॉफी में वे नायर की अगुवाई में खेले। हालांकि, उनका प्रदर्शन सीमित रहा और उन्होंने रणजी ट्रॉफी में इस बार हिस्सा नहीं लिया। हाल ही में उन्होंने आईपीएल 2025 में RCB के लिए बेहतरीन प्रदर्शन किया है, जिससे उनका मूल्य घरेलू क्रिकेट में और बढ़ गया है। बड़ौदा क्रिकेट एसोसिएशन (BCA) सूत्रों के अनुसार, जितेश रेड-बॉल और व्हाइट-बॉल दोनों फॉर्मेट्स में बड़ौदा की टीम का हिस्सा होंगे। हालांकि, इस बारे में उन्होंने अब तक कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है। बड़ौदा ने मुश्ताक अली में शानदार प्रदर्शन करते हुए सेमीफाइनल तक का सफर तय किया था। विजय हज़ारे ट्रॉफी में उनकी टीम क्वार्टरफाइनल तक पहुंची, लेकिन रणजी ट्रॉफी में बड़ौदा की उम्मीदें लीग राउंड में ही खत्म हो गईं थी।
विदर्भ की बल्लेबाज़ी को लगेगा झटका
नायर और शर्मा के जाने से विदर्भ की बल्लेबाज़ी पर निश्चित तौर पर असर पड़ेगा। दोनों ही खिलाड़ियों ने न सिर्फ बल्ले से योगदान दिया, बल्कि कप्तान और वरिष्ठ खिलाड़ी के रूप में टीम को नेतृत्व भी दिया। ऐसे में उनके स्थान को भरना टीम के लिए बड़ी चुनौती साबित हो सकता है।