नक्सल संगठन में दहशत का माहौल है। दंतेवाड़ा में शुक्रवार को सात नक्सलियों ने सरेंडर करते हुए मुख्य धारा में वापसी की, इनमें दो पर 50-50 हजार रुपए का इनाम था। आत्मसमर्पण कराने में डीआरजी, बस्तर फाईटर्स और सीआरपीएफ की 230वीं बटालियन का योगदान रहा। समर्पण के साथ नक्सलियों को 50 हजार रुपए की सहायता राशि तत्काल दी गई।
इन घटनाओं में थे शामिल
अधिकारियों ने बताया कि आत्मसमर्पण करने वाले सभी नक्सली अपने-अपने क्षेत्र में नक्सली बंद सप्ताह के दौरान सड़क खोदना, पेड़ काटना, नक्सली बैनर, पोस्टर और पाम्प्लेट लगाने जैसी घटनाओं में शामिल रहे हैं। उन्होंने बताया कि नक्सलियों ने जिले में जारी लोन वर्राटू (अपने घर/गांव वापस लौटो) अभियान से प्रभावित होकर आत्मसमर्पण किया है। अधिकारियों ने बताया कि आत्मसमर्पण करने वाले
नक्सलियों को पुनर्वास नीति के तहत 50-50 हजार रुपये की सहायता राशि दी गई है और उन्हें अन्य सुविधाएं जैसे कौशल विकास के लिए प्रशिक्षण, कृषि भूमि मुहैया कराई जाएगी।
इन्होंने किया सरेंडर
- जुगलू उर्फ सुंडुम कोवासी, थाना मिरतुर, बीजापुर, इनाम-५० हजार
- दशा उर्फ बुरकू थाना मिरतुर, बीजापुर, इनाम- 50 हजार
- भोजा राम माड़वी, सालेपाल, बस्तर
- लखमा उर्फ सुती, कटेकल्याण, दंतेवाड़ा
- रातू उर्फ ओठे कोवासी, मिरतुर, बीजापुर
- सुखराम पोडिय़ाम, बांगापाल, बीजापुर
- पण्डरू राम पोडिय़ाम पुसालामा थाना ओरछा, नारायणपुर।