हार्टबर्न और हार्ट अटैक में क्या फर्क है? (Heartburn vs Heart Attack difference)
डॉ. अंकित पटेल ने बताया हार्टबर्न छाती के बीच में, ब्रेस्टबोन के पीछे एक जलन जैसा महसूस होता है। ये आमतौर पर पेट से एसिड का खाने की नली में वापस आने (एसिड रिफ्लक्स) की वजह से होता है। वहीं, हार्ट अटैक (Heart Attack) तब होता है जब दिल की मांसपेशियों को खून पहुंचाने वाली नली में रुकावट आ जाती है, जिससे दिल की मांसपेशी को नुकसान पहुंचता है।कैसे पता करें कि छाती का दर्द Heartburn है या Heart Attack का संकेत?
डॉ. हेमंत चतुर्वेदी ने कहा हार्टबर्न अक्सर खाना खाने के बाद होता है और लेटने पर बढ़ जाता है। इसमें ज्यादा लार आ सकती है और खाया हुआ खाना गले तक वापस आ सकता है। लेकिन हार्ट अटैक (Heart Attack) का छाती का दर्द (एंजाइना), जो दिल की धमनियों में आंशिक रुकावट के कारण होता है, बहुत तेज होता है और अक्सर पसीना और उल्टी के साथ होता है। यह मेहनत करने पर और बढ़ जाता है और आराम करने पर कम हो जाता है। दर्द गर्दन, कंधे या बांहों तक भी फैल सकता है। यह उन लोगों में ज्यादा होता है जिन्हें धूम्रपान, डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर जैसी दिल की बीमारियों का खतरा होता है।छाती के दर्द को हार्टबर्न या हार्ट अटैक के रूप में पहचानने वाले संकेत
दर्द का स्थान:हार्ट अटैक: अक्सर छाती के बीच या बाईं ओर महसूस होता है, लेकिन यह गर्दन, जबड़े, कंधे या बांह तक भी फैल सकता है।
हार्ट अटैक: दबाव, जकड़न, भारीपन, या निचोड़ने जैसा महसूस हो सकता है। दर्द की अवधि: हार्टबर्न: कुछ मिनटों से लेकर कई घंटों तक रह सकता है।
हार्ट अटैक: आमतौर पर कुछ मिनटों से अधिक समय तक रहता है और आराम करने पर भी कम नहीं होता।
हार्ट अटैक: अचानक हो सकता है या धीरे-धीरे विकसित हो सकता है। यह भी पढ़ें : Cervical Cancer की जांच अब आसान, एम्स ने बनाया खास ब्लड टेस्ट
अन्य लक्षण (हार्टबर्न के साथ):
खट्टा या कड़वा स्वाद मुंह में आनानिगलने में कठिनाई
उल्टी या मतली
पेट फूलना
अन्य लक्षण (हार्ट अटैक के साथ):
सांस लेने में तकलीफपसीना आना (विशेषकर ठंडा पसीना)
चक्कर आना या बेहोशी
थकान
मतली या उल्टी
गतिविधि का प्रभाव:
हार्टबर्न: गतिविधि से आमतौर पर प्रभावित नहीं होता।हार्ट अटैक: शारीरिक गतिविधि से दर्द बढ़ सकता है और आराम करने से थोड़ा कम हो सकता है।
दवाओं का प्रभाव:
हार्टबर्न: एंटासिड लेने से अक्सर आराम मिलता है।हार्ट अटैक: एंटासिड से आराम नहीं मिलता।