DM Vishakh Iyer: उत्तर प्रदेश में लखनऊ नंबर 1, डीएम विशाख अय्यर बने प्रदेश के सबसे बेहतरीन कलेक्टर
Vishakh Iyer No.1 Collector Lucknow : उत्तर प्रदेश में राजस्व मामलों के निस्तारण को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की निगरानी के सार्थक परिणाम सामने आने लगे हैं। राज्य में लखनऊ जिला सबसे आगे रहा, जहां 15,137 मामलों का निपटारा हुआ। इस ऐतिहासिक उपलब्धि के साथ डीएम विशाख अय्यर को यूपी का नंबर वन कलेक्टर घोषित किया गया है।
फोटो सोर्स: Patrika: लखनऊ बना मिसाल, डीएम विशाख अय्यर टॉप पर
DM Vishakh Iyer Lucknow: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ एक बार फिर प्रशासनिक उत्कृष्टता की मिसाल बनकर उभरी है। राजस्व न्यायालय कंप्यूटरीकृत प्रबंधन प्रणाली (RCCMS) की ताज़ा रिपोर्ट के अनुसार, पूरे प्रदेश में सबसे अधिक 15,137 राजस्व मामलों का निस्तारण लखनऊ जिले में हुआ है। इस शानदार प्रदर्शन ने ज़िलाधिकारी विशाख अय्यर को प्रदेश का सर्वश्रेष्ठ डीएम बना दिया है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राजस्व मामलों के शीघ्र व पारदर्शी निस्तारण को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है। उन्होंने सभी जिलों को निर्देशित किया कि लंबित मामलों का समाधान त्वरित और निष्पक्ष तरीके से किया जाए। RCCMS के माध्यम से प्रत्येक जिले के प्रदर्शन पर लगातार नजर रखी जा रही थी, और अब इसका असर भी स्पष्ट रूप से दिखने लगा है।
प्रदेश भर में कुल 3.20 लाख से अधिक मामले निपटे
राजस्व विभाग की रिपोर्ट के अनुसार मई 2025 तक प्रदेश में कुल 3,20,719 मामलों का निस्तारण किया जा चुका है। यह आंकड़ा दर्शाता है कि प्रदेश प्रशासन, खासकर डीएम स्तर पर, राजस्व न्यायालयों के कामकाज में बड़ा सुधार लाने में सफल रहा है।
लखनऊ के बाद सबसे अच्छा प्रदर्शन जौनपुर का रहा, जहां 9,945 मामलों का निस्तारण हुआ। वहीं, प्रयागराज ने 9,525 मामलों के समाधान के साथ तीसरा स्थान प्राप्त किया। ये आंकड़े दर्शाते हैं कि सिर्फ राजधानी ही नहीं, बल्कि प्रदेश के अन्य जिले भी सक्रिय रूप से बेहतर प्रशासन के लिए कार्य कर रहे हैं।
राजस्व न्यायालयों में भी प्रभावी कार्य
जौनपुर के तहसील स्तर पर 563 मामलों का निपटारा किया गया, जो कि निर्धारित लक्ष्य का 225.2% है।
सुल्तानपुर ने 549 और गाज़ीपुर ने 262 मामलों का समाधान किया।
अयोध्या के जिलाधिकारी न्यायालय ने 230% लक्ष्य पूरा करते हुए 69 मामलों का निस्तारण किया, जबकि लक्ष्य केवल 30 था।
एडीएम स्तर पर भी उल्लेखनीय प्रदर्शन
जौनपुर के एडीएम (भू-राजस्व) ने 208 मामलों का निपटारा किया, जो लक्ष्य का 208% है।
एडीएम (वित्त व राजस्व), जौनपुर ने 50 मामलों के लक्ष्य की तुलना में 146 मामलों का निस्तारण किया, जो कि 292% प्रदर्शन है।
RCCMS सिस्टम बना सफलता की कुंजी
राजस्व मामलों के समाधान में तकनीक ने बड़ी भूमिका निभाई है। राजस्व न्यायालय कंप्यूटरीकृत प्रबंधन प्रणाली (RCCMS) ने न सिर्फ पारदर्शिता बढ़ाई, बल्कि हर स्तर पर केस ट्रैकिंग और समयबद्ध निस्तारण को संभव बनाया। अब केसों की निगरानी ऑनलाइन की जा सकती है, जिससे अफसरों की जवाबदेही भी सुनिश्चित हो रही है।
वित्तीय वर्ष 2024-25 में उत्तर प्रदेश में 2.3 करोड़ राजस्व मामलों का रिकॉर्ड निस्तारण किया गया। इसका निपटान दर 95.37% रहा। यह दर्शाता है कि राज्य प्रशासन ने इस दिशा में गंभीरता और प्रतिबद्धता के साथ काम किया है।
इस पूरी प्रक्रिया में लखनऊ के डीएम विशाख अय्यर का नेतृत्व बेहद प्रेरणादायक रहा। उन्होंने न सिर्फ टीम को सही दिशा दी, बल्कि तकनीक के प्रभावी उपयोग, अधिकारियों की नियमित समीक्षा, और फरियादियों को न्याय दिलाने के लिए व्यक्तिगत रूप से भी कई मामलों की निगरानी की। उनकी यह कार्यशैली ही उन्हें प्रदेश का नंबर वन कलेक्टर बनाती है।
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