इंजीनियर और अधिकारी सस्पेंड
जल संसाधन मंत्री ने कहा कि तटबंध की सुरक्षा में लापरवाही बरतने वाले कार्यपालक और कनीय अभियंताओं समेत कुल सात लोगों को निलंबित कर दिया गया है। जल संसाधन चौधरी ने कहा कि जहानाबाद और नालंदा में निरंजना (फलगू), मुहाने, उत्तर कोयल, सकरी और पंचाने नदियों में अत्यधिक जलस्राव व जलस्तर दर्ज किया गया है। दिनांक 19 जून को संध्या 9.00 बजे जहानाबाद स्थित उदेरास्थान बराज से 73,067 क्यूसेक पानी छोड़ा गया। जो विगत वर्ष के अधिकतम जलस्राव 6,8268 क्यूसेक से 4439 क्यूसेक अधिक है। फलस्वरूप बराज के निम्न प्रवाह में अवस्थित बंधुगंज काजवे गेज स्टेशन पर 62.15 मीटर का नया उच्चतम जलस्तर दर्ज किया गया। यह पूर्व के उच्चतम स्तर से 0.15 मीटर अधिक है।
झारखंड में बारिश से बिहार में तबाही
विजय चौधरी ने बताया कि झारखंड में हो रही बारिश का पानी बिहार के नदियों में अत्यधिका आने के कारण 19 जून की रात्रि 1.00 बजे नालंदा जिला के एकंगरसराय प्रखंड में लोकाईन नदी के दाएं किनारे पर अवस्थित जमींदारी बांध केशोपुर ग्राम में क्षतिग्रस्त हो गया। इसके अलावा नालंदा, जहानाबाद और पटना जिलान्तर्गत लोकाईन, भूतही, धोवा और महात्माइन नदी पर अवस्थित बांध भी कुछ स्थानों पर क्षतिग्रस्त हो गए। टूटे हुए तटबंध को पुनर्स्थापित करने के लिए युद्धस्तर पर कार्य किए जा रहे हैं। जल संसाधन मंत्री ने यह भी कहा कि विभागीय स्तर पर पर्यवेक्षण के क्रम में पाया गया है कि कार्यपालक अभियंता बाढ़ नियंत्रण प्रमंडल, एकंगरसराय तथा प्रभारी कनीय अभियंताओं द्वारा नालंदा और जहानाबाद जिलान्तर्गत लोकाईन व भूतही नदी पर अवस्थित तटबंधों की सुरक्षा को लेकर घोर लापरवाही बरती गई है।
मंत्री ने दिए जांच के आदेश
मंत्री ने कहा कि ऐसे सभी कार्यपालक अभियंता बाढ़ नियंत्रण प्रमंडल एकंगरसराय तथा संबंधित स्थल प्रभारी कनीय अभियंताओं को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। जल संसाधन मंत्री ने यह भी कहा कि इसमें विभाग के कई अन्य वरीय पदाधिकारियों के दायित्वों की जांच की जा रही है। जांच में सामने आने वाले तथ्यों पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल सभी तटबंध संरचनाओं की निगरानी सख्त कर दी गई है।जल संसाधन विभाग के प्रधान सचिव संतोष कुमार मल्ल और विभाग के अभियंता प्रमुख शरद कुमार भी मौजूद थे।