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तीन घंटे लम्बी कतार की मजबूरी, फिर मिल रहा परामर्श

उपजिला चिकित्सालय दो दिन से एक ही चिकित्सक के भरोसे चल रहा है। आउटडोर में मरीजों की लंबी कतारें लगी होने व एक ही चिकित्सक होने से आउटडोर में मरीजों को चिकित्सक को दिखाने के लिए तीन-तीन घण्टे तक इंतजार करना पड़ा।

बूंदीMar 01, 2025 / 12:06 pm

Narendra Agarwal

तीन घंटे लम्बी कतार की मजबूरी, फिर मिल रहा परामर्श

नैनवां। उपजिला चिकित्सालय में एक ही चिकित्सक होने से आउटडोर में लगी मरीजों की कतारें।

नैनवां. उपजिला चिकित्सालय दो दिन से एक ही चिकित्सक के भरोसे चल रहा है। आउटडोर में मरीजों की लंबी कतारें लगी होने व एक ही चिकित्सक होने से आउटडोर में मरीजों को चिकित्सक को दिखाने के लिए तीन-तीन घण्टे तक इंतजार करना पड़ा। एक ही चिकित्सक होने से चिकित्सा व्यवस्था बिगड़ जाने से शुक्रवार को बामनगांव पीएचसी से एक चिकित्सक को बुलाकर आउटडोर में मरीजों को देखने के लिए लगाया। चिकित्सालय में एक ही चिकित्सक होने से चिकित्सा व्यवस्था के हालात बिगडऩे की सूचना पर उपखण्ड अधिकारी प्रीति मीणा भी उपजिला चिकित्सालय पहुंची।
उपजिला चिकित्सालय में 28 चिकित्सकों के पद स्वीकृत है, जिनमें से पांच चिकित्सक ही नियुक्त है। इनमें से एक चिकित्सक डॉ अंजली मीणा 20 जुलाई से ही बिना अवकाश स्वीकृत कराए नदारद है। दूसरी चिकित्सक डॉ. जया चौधरी मेडिकल अवकाश पर चल रही है। डॉ. प्रियंका मीणा पीजी में चयन होने से कार्यमुक्त हो गई। चिकित्सक डॉ. एलपी नागर भी अवकाश पर चल रहे है, जिसके चलते दो दिन से आउटडोर में एक ही चिकित्सक बैठ रहा है। शुक्रवार को सुबह दस बजे तो हाल यह हो गए कि आउटडोर के बाहर डेढ़ सौ मरीजों की कतार लगी हुई थी। आउटडोर में मरीजों की भीड़ लगी होने से मरीजों को देखने के लिए बामनगांव पीएचसी से एक चिकित्सक डॉ. लोकेश कुमार को बुलाकर आउटडोर में मरीजों को देखने के लिए बैठाया। गुरुवार को भी चिकित्सालय में एक ही चिकित्सक रहने से करवर पीएचसी से एक चिकित्सक डॉ. कमलकांत को भी लगाना पड़ा।
दो दिन से चिकित्सालय में एक ही चिकित्सक होने से चिकित्सा व्यवस्था बिगड़ी होने की सूचना पर शुक्रवार को उपखण्ड अधिकारी प्रीति मीणा चिकित्सालय पहुंची। उपखण्ड अधिकारी 11 बजे चिकित्सालय पहुंची तो आउटडोर के बाहर मरीजों की लम्बी कतारें देख पीएमओ से चिकित्सालय में चिकित्सकों की स्थिति की जानकारी ली। पीएमओ ने उपखण्ड अधिकारी को बताया कि पांच में से एक ही चिकित्सक होने से व्यवस्था बिगड़ी होने की बात कही। साथ ही कहा कि मरीजों की भीड़ को देखते हुए बामनगांव पीएचसी से एक चिकित्सक को बुलाना पड़ा है। उपखण्ड अधिकारी ने आउटडोर की स्थिति के साथ लेबर रूम,
वार्ड में पहुंचकर स्थिति देखी और चिकित्सकों की कमी की स्थिति की रिपोर्ट तैयार कर देने को कहा।
जिनको लगाया वह भी नहीं आए
चिकित्सा निदेशक ने 15 जनवरी को उपजिला चिकित्सालय में तीन विशेषज्ञ चिकित्सकों डॉ. श्रीराम कटारिया, डॉ. ओमप्रकाश मीणा व डॉ. सुरेशचंद्र को पद स्थापित किया था। तीनों ही चिकित्सकों ने 40 दिन बाद भी जॉइन नहीं किया है।
28 में से पांच नियुक्त
पीएमओ डॉ. कृष्णकुमार प्रजापत का कहना है कि चिकित्सालय में पांच चिकित्सक नियुक्त है। एक चिकित्सक डॉ. अंजली मीणा 20 जुलाई से नदारद है। डॉ. जया चौधरी मेडिकल अवकाश पर है। डॉ. एलपी नागर भी अवकाश पर चल रहे है। डॉ. प्रियंका मीणा को पीजी करने जाने के लिए कार्यमुक्त करना पड़ा है।
कलक्टर को भेजेंगे रिपोर्ट
उपखण्ड अधिकारी प्रीति मीणा ने बताया कि चिकित्सालय का निरीक्षण किया है। पीएमओ से चिकित्सकों के स्वीकृत पदों व नियुक्त चिकित्सकों की संख्या की रिपोर्ट देने को कहा है। रिपोर्ट को जिला कलक्टर को भेजकर चिकित्सक लगाने की व्यवस्था के लिए लिखा जाएगा।

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