राजनीति में उलझे स्कूल-
पिछली कांग्रेस सरकार ने फ्लैगशिप योजना में महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूलों को शामिल किया था। लेकिन सत्ता बदलने के बाद महात्मा गांधी स्कूल राजनीति में उलझकर रह गए। वर्तमान शिक्षामंत्री मदन दिलावर कई बार पिछली सरकार पर आरोप लगा चुके हैं कि बिना संसाधनों के ग्रामीणों और छात्र-छात्राओं पर अंग्रेजी माध्यम स्कूल थोप दिए गए है।
अभिभावक भी हैं परेशान-
निजी स्कूलों से टीसी कटवाकर बच्चों को महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में प्रवेश दिलवाने वाले अभिभावक भी महात्मा गांधी स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति नहीं होने से परेशान हैं। संसाधन और अच्छे शिक्षक मिलने की आस को लेकर बच्चों का इन विद्यालयों में प्रवेश करवाया था, पर अब तक बच्चों को पढ़ाने के लिए भी शिक्षक नियुक्त नहीं हुए हैं। इससे कई अभिभावक दो साल से अपने आप को ठगा सा महसूस कर रहे हैं। यह आ रही है परेशानी- सूत्रों ने बताया कि महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूल अभी संसाधनों के मामले में पिछड़े हुए हैं। क्योंकि ज्यादातर अंग्रेजी माध्यम स्कूल हिन्दी माध्यम के भवनों में ही संचालित हैं। अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में अधिकांश स्टाफ हिन्दी माध्यम का है। इनके लिए अलग से प्रशिक्षण भी नहीं कराया गया। पूर्व प्राथमिक स्कूलों में अभी खेल-खेल में पढ़ाई के लिए शिक्षण सामग्री का अभाव है। वहीं, अंग्रेजी माध्यम स्कूलों के संचालन के लिए नीति स्पष्ट नहीं है।
जिले में इतने पद रिक्त-
झालावाड़ जिले में 26 महात्मा गांधी स्कूल हैं। जिनमें करीब 200 शिक्षकों के पद रिक्त हैं। जबकि इन स्कूलों में प्रवेश के लिए लॉटरी निकाली जा चुकी हैं और अभ्यर्थियों को 25 जून तक पोर्टल पर लॉक करना है। जिस उद्देश्य से महात्मा गांधी स्कूलों का संचालन प्रारंभ किया गया था। वह मकसद पूरा नहीं होने से अभिभावक खुद को ठगा सा महसूस कर रहे हैं। जिन बच्चों के नाम लॉटरी में आए हैं, उनके अभिभावक भी शिक्षकों की कमी को देखते हुए अन्य विद्यालयों में बच्चों को प्रवेश दिलाने की तैयारी कर रहे हैं। ऐसे में इन स्कूलों का नामांकन प्रभावित होगा।
इसबार कक्षा एक में शून्य नामांकन वाले स्कूल
– महात्मा गंाधी स्कूल रमजानपुरा अकलेरा – महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल मिश्रोली – महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल कोलवी -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, सारोला -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, ठीकरिया -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, जावर -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, कोलूखेडी -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, पिड़ावा – महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल,रायपुर
सभी कक्षाओं में शून्य आवेदन वाले स्कूल
– महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, रमजानपुरा अकलेरा -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, मिश्रोली -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, जावर -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, कोलूखेडी -महात्मा गांधी अंग्रेजी स्कूल, पिड़ावा
पिड़ावा कचहेरी अनौखा स्कूल-
जिले के महात्मा गांधी स्कूल कचहेरी पिड़ावा में खुलने के बाद से कोई प्रवेश नहीं हुआ। इसके बावजूद भी वहां तीन शिक्षक तैनात है, जबकि जहां नामांकन है वहां शिक्षकों की कमी चल रही है। वहीं जिले में महात्मा गांधी स्कूल कलेक्ट्री, झालावाड़, महात्मा गांधी स्कूल पचपहाड़, महात्मा गांधी स्कूल झालरापाटन में ही पर्याप्त नामांकन है,अन्य सभी स्कूलों में नामांकन अति न्यून है।
ऑफलाइन आवेदन लेने चाहिए-
ग्रामीण क्षेत्रों में कई अभिभावक ऑनलाइन आवेदन नहीं कर पाए है। यदि ऑफलाइन आवेदन की भी स्वीकार किए जाएं तो अभिभावकों को सुविधा मिलेगी। सुरेन्द्र जैन, शिक्षाविद्, झालावाड़।
प्रवेशोत्सव चल रहा- महात्मा गांधी स्कूलों में पदस्थापन का मामला सरकार के स्तर का है। महात्मा गांधी स्कूलों में ऑनलाइन प्रक्रिया से आवेदन हुए थे। अभी प्रवेशोत्सव चल रहा है। रिक्त स्थानों पर सरकार के जो भी निर्देश होंगे उसी के हिसाब से काम होगा।
रामसिंह मीणा, सीडीईओ, झालावाड़।