थानाधिकारी मेहाडा भजना राम चौधरी ने बताया कि रविवार सुबह लगभग 11.30 बजे मोहित (10 ) पुत्र पप्पू गुर्जर व ज्योति (10 ) पुत्री अर्जुन लाल गुर्जर भैंसों को चराने के लिए गए थे। वहां पर भैस बंद पड़ी एक निजी खदान में चली गई। खदान में पानी भरा हुआ था।
मोहित को जयपुर रैफर किया गया
भैसों को बाहर निकालने के चक्कर में दोनों चचेरे भाई-बहन पानी में डूब गए। जिन्हें ग्रामीणों ने पानी से बाहर निकाला तथा उन्हें इलाज के लिए नारनौल अस्पताल लेकर जहां चिकित्सकों ने बच्ची ज्योति को मृत घोषित कर दिया। गंभीर हालत होने के कारण मोहित को जयपुर रैफर कर दिया। इसका जयपुर में इलाज चल रहा है। बालिका ज्योति गांव के सरकारी स्कूल में चौथी क्लास में पढ़ती थी। बालक मोहित बसई के एक निजी स्कूल में सातवीं कक्षा का छात्र है। लाडली बेटी की मौत के बाद घर में कोहराम मच गया।
खनिज विभाग व लीज धारक की लापरवाही
आक्रोशित ग्रामीणों ने बताया कि यह लोह अयस्क की लीज है जो काफी गहरी है। इसमें पानी भरा हुआ है। इसके चारों तरफ तारबंदी भी नहीं है। यहां चौकीदार भी नहीं रहता है। यदि इस खदान के चार दीवारी होती या चौकीदार होता तो इस प्रकार का हादसा नहीं होता। खान विभाग इस तरफ ध्यान नहीं दे रहा।