scriptRajasthan : खेत में जिंदगी और मौत से लड़ता रहा कांस्टेबल, पुलिस-एम्बुलेंस देरी से पहुंची, अस्पताल ले गए तो रास्ते में मौत | Constable Shaitanaram Bishnoi of Bhojasar police station of Phalodi died under suspicious circumstances | Patrika News
जोधपुर

Rajasthan : खेत में जिंदगी और मौत से लड़ता रहा कांस्टेबल, पुलिस-एम्बुलेंस देरी से पहुंची, अस्पताल ले गए तो रास्ते में मौत

खेत में उसे देखने पर ग्रामीणों ने एम्बुलेंस व पुलिस को सूचना दी। काफी देर से एंबुलेंस मौके पर पहुंची, लेकिन एम्बुलेंस स्टाफ पुलिस के आने का इंतजार करने लगा। कांस्टेबल को अस्पताल ले जाने से कतराने लगे।

जोधपुरJul 04, 2025 / 04:25 pm

Rakesh Mishra

death of Constable Shaitanaram Bishnoi

मृतक शैतानाराम बिश्नोई। फाइल फोटो- पत्रिका

राजस्थान के फलोदी जिले के भोजासर थाने के कांस्टेबल शैतानाराम बिश्नोई की गुरुवार को संदिग्ध हालात में मृत्यु हो गई। वह पलीना गांव के एक खेत में सुबह छह बजे बेहोश मिला। उसकी तेज सांसें व धड़कनें चल रही थी। पहले एम्बुलेंस और फिर पुलिस देरी से मौके पर पहुंची। उसे फलोदी ले जाया गया, लेकिन रास्ते में मृत्यु हो गई। फिलहाल पुलिस ने पूरे मामले में चुप्पी साध रखी है।
पुलिस के अनुसार जाम्बा गांव में श्रीराम नगर निवासी शैतानाराम बिश्नोई भोजासर थाने में कांस्टेबल था। फलोदी के सरकारी अस्पताल में पोस्टमार्टम करवाकर शव परिजन को सौंपा। फिलहाल पुलिस ने मर्ग दर्ज कर जांच शुरू की है। वृत्ताधिकारी (लोहावट) संग्रामसिंह ने शाम को पोस्टमार्टम की पुष्टि की। शाम को कांस्टेबल का अंतिम संस्कार कर दिया गया।

देर रात निकला था थाने से

सूत्रों के अनुसार कांस्टेबल शैतानाराम मारपीट के एक मामले में साथी सिपाही के साथ आरोपी को थाने लाया था। कार थाने में खड़ी कर वह देर रात निकल गया था। पलीना गांव में उसकी रिश्तेदारी है। संभवत: वह देर रात वहां गया था। सुबह चार बजे वह वहां से निकला था। इसके बाद पांच-छह किमी दूर खेत में बेहोश होकर गिर गया था। सुबह छह बजे खेत मालिक ने उसे तड़पते देखा। अन्य ग्रामीण भी वहां आए।

समय पर इलाज मिलता तो बच सकती थी जान

खेत में उसे देखने पर ग्रामीणों ने एम्बुलेंस व पुलिस को सूचना दी। काफी देर से एंबुलेंस मौके पर पहुंची, लेकिन एम्बुलेंस स्टाफ पुलिस के आने का इंतजार करने लगा। कांस्टेबल को अस्पताल ले जाने से कतराने लगे। आखिरकार ग्रामीणों ने ही तड़प रहे कांस्टेबल को एम्बुलेंस में लेटाया और फलोदी के अस्पताल भिजवाया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। रास्ते में ही उसकी मृत्यु हो गई थी। परिजन अस्पताल पहुंचे। जयपुर के दूदू थाने में कांस्टेबल भाई के फलोदी पहुंचने पर शाम को मर्ग दर्ज किया गया। तत्पश्चात पोस्टमार्टम कराया गया।

छह-सात किमी तक पैदल घूमने के बाद खेत में गिरा

ग्रामीणों का कहना है कि शैतानाराम सुबह चार बजे पलीना गांव में रिश्तेदार के घर से निकला था। उसे साथी सिपाही लेने आने वाला था, लेकिन संभवत: वह रास्ता भटक गया और गांव में दूसरी दिशा में चला गया था। रास्ते में उसने अपना टी-शर्ट व चप्पल उतारकर फेंक दी। पांच-छह किमी पैदल ही घूमने के बाद वह बेहोश होकर खेत में गिर गया था। खेत में तड़पने से पैंट मिट्टी से सन गई। उसका मोबाइल भी पास में मिला।
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पिता सेवानिवृत्त शिक्षक, भाई भी कांस्टेबल

शैतानाराम वर्ष 2013 बैच का कांस्टेबल था। उसके पांच व सात साल के दो बेटे हैं। पिता सेवानिवृत्त शिक्षक हैं। उसके दो और भाई व एक बहन है। एक भाई गिरधारीलाल दूदू थाने में कांस्टेबल है। दूसरा भाई मनफूल निजी नौकरी करता है।

ये उठ रहे सवाल…

कांस्टेबल शैतानाराम अपनी कार क्यों नहीं लेकर गया था। कार थाने में ही क्यों खड़ी की थी? वह पैदल ही पांच-छह किमी घूमता रहा था। फिर खेत में गिरा था। क्या उसे किसी ने संदिग्ध वस्तु खिलाई?

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