रामनगर कॉलोनी में व्याप्त अतिक्रमण को लेकर क्षेत्रवासियों द्वारा लगातार शिकायतें की जा रही है। रहवासियों का आरोप है कि हाउसिंग बोर्ड द्वारा क्षेत्र के 150 से अधिक बगीचों की जगह को क्रय कर दिया गया है। क्षेत्र में एक स्कूल भी संचालित हो रही है, जो कि आवासीय भूखंड पर बनी हुई है। इस स्कूल को भी बगीचे की जगह भी आवंटित कर दी गई है। अतिक्रमणों की शिकायत पर कलेक्टर द्वारा जांच के निर्देश भी दिए गए हैै। पिछले दिनों यहां एसडीएम, हाउसिंग बोर्ड अधिकारी, निगम अधिकारियों द्वारा निरीक्षण भी किया गया और एसडीएम ने स्कूल बंद करने के निर्देश भी दिए थे। इसके बावजूद स्कूल संचालित हो रहा है। इन सब शिकायतों के चलते हाउसिंग बोर्ड ने ये कदम उठाया है।
मप्र गृह निर्माण मंडल ने विश्व बैंक योजना के तहत हुडको से सहयोग से रामनगर कॉलोनी को शहर के उपनगर की तर्ज पर विकसित किया था। रामनगर कॉलोनी 70 एकड़ क्षेत्र में बसी हुई है, जिसमें 2500 से ज्यादा प्लाट पर मकान बने हुए है। तत्कालीन समय में ये कॉलोनी शहर से लगभग तीन किमी दूरी पर थी। जिसके चलते इसे उपनगर तो कहा गया, लेकिन यहां व्यवसायिक प्लाटों की कोई व्यवस्था नहीं की गई। रहवासियों ने तत्कालीन समय में अपनी सुविधा के लिए घर के अंदर ही छोटी-छोटी दुकानें खोल ली। कई दुकानें तो 35 से 30 साल पुरानी है। कॉलोनी नगर निगम को हैंडओवर भी हो चुकी है।
शिकायतकर्ता सुभाष जठरे ने बताया कि कॉलोनी विकास के समय यहां 150 से ज्यादा बगीचे भी बनाए गए थे। वर्तमान में चार-पांच बगीचों को छोडकऱ अधिकतर बगीचे गायब हो चुके है। ये बगीचे कॉलोनी के नक्शे पर आज भी मौजूद है। यहां 20 फीट की रोड पूरी कॉलोनी में बनाई गई थी, जो कि अब महज 8 से 10 फीट की रह गई है। इन बगीचों के गायब होने, अतिक्रमण किए जाने की शिकायत की गई है, लेकिन आज तक कोई कार्रवाई नहीं हुई।
हमारे सहायक यंत्री ने क्षेत्र में जांच की थी, आवासीय भूखंडों पर व्यवसायिक गतिविधियां पाई जाने पर नोटिस जारी किया गया है। हमारी लीज की शर्तों का उल्लंघन हुआ है। कॉलोनी में बगीचों पर अतिक्रमण का मामला नगर निगम का है, कॉलोनी नगर निगम को हस्तांतरित की गई है।
एमएल ढाकसे, ईई हाउसिंग बोर्ड खंडवा