क्या थे प्रेमानंद महाराज के वो तीन नियम
प्रेमानंद महाराज (Premanand Maharaj) ने तीन नियम लिए थे। पहला पैसे अपने पास नहीं रखेंगें, दूसरा राजकीय विभाग में कभी नाम नहीं आने देंगे और तीसरा नियम शिष्य ना बनाने का लिया था। लेकिन उनको अपना एक नियम तोड़ना पड़ गया।संत प्रेमानंद महाराज की एक झलक पाने के लिए रेलिंग पर चढ़े अनुयाई, पुलिस प्रशासन के फूले हाथ-पांव
प्रेमानंद महाराज एक वीडियो में बताते हैं, ‘मैंने तीन नियम लिए जीवन में कि पहला कभी पैसा अपने पास नहीं रखूंगा। दूसरा राजकीय विभाग में कभी हमारा नाम नहीं होगा। तीसरा कभी जिंदगी में शिष्य नहीं बनाऊंगा। एक नियम टूट गया, गुरु आज्ञा का यानी शिष्य बनाना’।