परिवार को देनी पड़ी बली
अंतरजातीय विवाह को लेकर गांव वालों में गुस्सा भडक़ गया था। उन्होंने परिवार को अस्थायी तौर पर बहिष्कृत कर दिया। कथित तौर पर गांव वालों ने मांग की कि अगर युवती का परिवार वापस समुदाय में स्वीकृत होना चाहता है तो उसे शुद्धिकरण की रस्म करानी होगी। ऐसा करने से मना करने पर परिवार के स्थायी बहिष्कार की चेतावनी दी गई। गांव वालों के दबाव में आकर परिवार ने अनुष्ठान के मुताबिक स्थानीय देवता के सामने पशु बलि दी। सामूहिक मुंडन समारोह हुआ। इसके बाद ही उन्हें समुदाय द्वारा पुन: स्वीकार किए जाने का आश्वासन मिला।
सोशल मीडिया पर वायरल हुआ वीडियो
सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल हुआ है, जिसमें परिवार के सदस्य सिर मुंडवाकर खेत में बैठे हैं। इस साल की शुरुआत में ओडिशा के बारगढ़ जिले में एक परिवार को ऐसे व्यक्ति का अंतिम संस्कार करने की इजाजत नहीं दी गई थी, जिसने दूसरी जाति की महिला से शादी की थी। अंतरजातीय विवाह पर देते हैं सहायता
खबर फैलते ही काशीपुर के बीडीओ विजय सोय ने मामले की विस्तृत जांच के आदेश दिए। ब्लॉक स्तर के अधिकारी को गांव भेजा गया। प्रशासन ने कहा कि जांच रिपोर्ट आने के बाद उचित कार्रवाई की जाएगी। यह घटना इसलिए भी चौंकाने वाली है, क्योंकि ओडिशा में एक योजना के तहत अंतरजातीय विवाह करने वाले जोड़ों को घर बसाने के लिए सरकार 2.5 लाख रुपए की वित्तीय सहायता देती है।