बागेश्वर धाम में महोत्सव के लिए तैयारियों को तेजी से अंतिम रूप दिया जा रहा है। बाइपास से हेलीपैड तक सड़क के दोनों ओर भव्य सजावट की जा रही है। समूचा बागेश्वर धाम दूधिया रोशनी से जगमगाएगा। करीब 2000 एलइडी लगाई जा रही हैं। मंदिर परिसर, यज्ञशाला, अन्नपूर्णा सहित अन्य भवन रोशनी में नहाएंगे। लाइटें राष्ट्र प्रेम का संदेश भी देंगी। दरअसल यहां ऐसी ट्यूब लाइट लगाई जा रहीं हैं जिसे तिरंगे की छवि निकलेगी।
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धाम में पानी की पर्याप्त व्यवस्था किए जाने हेतु करीब 5 किलोमीटर लंबी पाइप लाइन बिछाई जा रही है। इसके अलावा 2000 लीटर की 80 टंकियां रखकर 12 से 13 अस्थाई पॉइंट बनाए जा रहे हैं। इन्हीं पानी की टंकियों से नल की टोंटियां फिट की जाएगी ताकि सबको सुगमता से पानी मिल सके। 80000 लीटर क्षमता वाली दो पानी की टंकियां पहले से ही तैयार की जा चुकी है। इन्हीं टंकियां के सहारे पूरे आयोजन क्षेत्र में पानी पहुंचेगी, इसके अलावा 60 टैंकरों से भी पानी पहुंचाया जाएगा।
सामूहिक विवाह के लिए कन्याओं को सर्वे के बाद चयनित किया गया है। पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने मीडिया को बताया कि 1000 से अधिक फॉर्म आए थे जिनकी बारीकी से जांच करने के बाद बाकायदा सर्वे किया गया। इसके बाद 251 कन्याओं को विवाह के लिए चुना गया। इनमें 4 दिव्यांग कन्याएं भी हैं। 54 अनाथ और 94 कन्याएं ऐसी हैं जिनके पिता नहीं हैं। 108 आदिवासी कन्याएं हैं।
यह भी पढ़ें: बेटों पर फिदा शिवराज सिंह, शादी के एक-दो नहीं बल्कि कई रिसेप्शन दे रहे केंद्रीय कृषि मंत्री बुंदेलखंड महोत्सव में सामूहिक विवाह में इस बार 9 प्रदेशों की कन्याएं शामिल हैं। महाशिवरात्रि के दिन यानि 26 फरवरी को यह विवाह होगा। इस दिन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू भी नव विवाहित दंपत्तियों को आशीर्वाद देने कार्यक्रम में आएंगी। इससे पहले 23 फरवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुंदेलखंड महोत्सव कार्यक्रम में आएंगे।
बागेश्वरधाम में यह छठवां सामूहिक कन्या विवाह होगा। विवाह के बाद कन्याओं को बाकायदा उपहार दिए जाएंगे। जेवर के रूप में दुल्हनों को पायल-बिछिया दी जाएंगी। पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने बताया कि कन्याओं को सोफा सेट, डबल बेड, ड्रेसिंग टेबल, अलमारी, कुर्सी, गैस-चूल्हा, सिलेंडर और मिक्सी जैसी घरेलू जरूरतों के सामान दिए जाएंगे। इतना ही नहीं, कन्याओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए सिलाई मशीन और चक्की भी दी जा रही है।