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आज का सवाल : ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए किस तरह के प्रयास किए जा सकते हैं?

पाठकों की इस पर विभिन्न प्रतिक्रियाएं मिली हैं, प्रस्तुत हैं पाठकों के कुछ विचार…

जयपुरApr 14, 2025 / 03:29 pm

विकास माथुर

सरकार व निजी क्षेत्र दोनों मिलकर करें प्रयास
ग्रामीण पर्यटन को प्रोत्साहित करने हेतु संस्कृति, हस्तशिल्प, लोक कला और ग्रामीण जीवनशैली को एक ब्रांड के रूप में प्रस्तुत किया जाना चाहिए। स्थानीय लोगों को आतिथ्य, मार्गदर्शन व स्वरोजगार हेतु प्रशिक्षित किया जाए। पर्यावरण-संवेदनशील, होमस्टे आधारित मॉडल को बढ़ावा दिया जाए। सरकार व निजी क्षेत्र मिलकर बुनियादी ढांचे जैसे सड़क, बिजली, इंटरनेट और स्वच्छता की सुविधाएं सुनिश्चित करें। प्रचार-प्रसार हेतु डिजिटल प्लेटफॉर्म का उपयोग कर ग्रामीण पर्यटन स्थलों को वैश्विक मानचित्र पर लाया जाए। इससे न केवल पर्यटन बढ़ेगा, बल्कि ग्रामवासियों की आजीविका में भी सशक्त बदलाव आएगा।
— पारस मल बोस, गुड़ामालानी बाड़मेर
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शहरी छात्रों को कराया जाए गांवों में स्टडी टूर
भारत गांवों में बसता है इसलिए हमें गांवों से जुड़े रहना चाहिए। विशेषकर शहरी छात्रों के लिए स्कूल व कालेज द्वारा निश्चित अंतराल पर ‘ग्राम सेवा’ करनी चाहिए। गांवों के जनजीवन को नजदीक से देखने व समझने के लिए ‘स्टडी टूर’ कराना चाहिए। सरकारी व निजी प्रयासों से गांव के समीप ग्रामीण वातावरण से जुड़ा ‘ रिजार्ट ‘ जैसा टूरिस्ट डेस्टिनेशन सेंटर बनाकर भी ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा दिया जा सकता है।
— गजानन पांडेय , हैदराबाद
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ग्रामीण पर्यटन नीति बने
गांव-कस्बों को आधुनिक विकास धारा से जोड़ने के लिए पर्यटन नीति अपनानी होगी। इसमें लोक कलाओं का संरक्षण, हस्तशिल्प मेलों, कैरावेन पार्क तथा ग्रामीण गेस्ट हाउस परंपराओं को बढ़ावा मिले। इसके अलावा ग्रामीण स्थानीय संस्कृति, परंपरा एवं वेशभूषा को समय-समय पर सम्मान देना ग्रामीण पर्यटन नीति को विश्वस्तरीय पहचान दिला सकता है।
-महेश आचार्य, नागौर
मूलभूत सुविधाओं का अभाव
भारत के कई ग्रामीण क्षेत्र ऐसे हैं जहां पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं, लेकिन यहां पर्यटकों के लिए मूलभूत सुविधाएं नहीं हैं। रेलवे, बस आदि से सीधा जुड़ाव नहीं है। इसके लिए परिवहन की अच्छी कनेक्टिविटी, मोबाइल कनेक्टिविटी, पेयजल, रहने—ठहरने के लिए उचित स्थान आदि सुविधाएं देना जरूरी है।
— संजय डागा, हातोद जिला इन्दौर, मध्यप्रदेश
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ग्रामीण धरोहर को अतिक्रमण से बचाना होगा
ग्रामीण क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए प्राचीन धरोहर को बचाकर रखना जरूरी है । गांव की कला संस्कृति, ग्रामीण जीवन को संरक्षण मिलना चाहिए। गांवों में प्राचीन धरोहर जैसे कुएं, बावडी,तलाई, गढ़ , किलों का संरक्षण पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए। इन यह सब आज‌ अतिक्रमण की भेंट चढ़ रहे हैं
अजीतसिंह सिसोदिया– खारा बीकानेर
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आसपास के गांवों का हो विकास
पिछले कुछ सालों से धार्मिक पर्यटन की भारतीय जनमानस में रुचि बढ़ी है। अयोध्या, बनारस, मथुरा आदि स्थान तेजी से हॉट स्पॉट बनते जा रहे हैं। इसके लिए दूर दूर य़ात्राएं करनी होती हैं। हर बड़े शहर के आसपास कई छोटे छोटे गांव होते हैं, पर्यटन की दृष्टि से इनका विकास किया जा सकता है। यहां बेहतर रोड कनेक्टिविटी, ठहरने के लिए उचित स्थान, पेयजल व अच्छा भोजन उपलब्ध हो तो आसानी से यहां टूरिस्ट सेंटर बनाया जा सकता है।
— सुमित, दुर्ग, छत्तीसगढ़
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स्थानीय स्तर पर मिले पर्यटन को बढ़ावा
ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए, स्थानीय स्तर पर पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए। इसमें स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा करना, स्थानीय संस्कृति और कला को बढ़ावा देना, ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे का विकास करना और पर्यटकों के लिए सुविधाओं का प्रावधान करना शामिल है।
— नरपत सिंह चौहान, जैतारण ब्यावर राजस्थान
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