scriptAlert News: इस कारण नए सत्र में घट सकती हैं सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की सीटें | Patrika News
रायपुर

Alert News: इस कारण नए सत्र में घट सकती हैं सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की सीटें

नए सत्र में सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की सीटें घट सकती हैं। दरअसल राजधानी रायपुर स्थित पं. जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज ही आरेंज जोन में है। बाकी 9 कॉलेज रेड जोन में है। इन कॉलेजों में सिम्स बिलासपुर, दुर्ग, रायगढ़, कोरबा, अंबिकापुर, महासमुंद, राजनांदगांव, कांकेर व जगदलपुर शामिल हैं।

रायपुरJul 03, 2025 / 09:08 pm

Rabindra Rai

Alert News: इस कारण नए सत्र में घट सकती हैं सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की सीटें

Alert News: इस कारण नए सत्र में घट सकती हैं सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की सीटें

बैठक में कॉलेजों को अलर्ट भी किया

एनएमसी ने डीएमई व सभी डीन की बैठक में कॉलेजों को अलर्ट भी किया है कि कमियां दूर कीजिए, नहीं तो कार्रवाई के लिए तैयार रहिए। नया सत्र अगले माह शुरू होगा। इसके पहले नेशनल मेडिकल कमीशन सभी कॉलेजों को मान्यता देगा। मान्यता के पहले सभी कॉलेजों का निरीक्षण किया गया है। यह निरीक्षण ऑनलाइन हुआ है। काउंसलिंग इस माह शुरू होने की संभावना है। इससे पहले कॉलेजों की मान्यता जरूरी है।

मशीनों की कोई कमी नहीं, सीनियर रेसीडेंट कम

पत्रिका की पड़ताल में पता चला है कि नेहरू मेडिकल कॉलेज में फैकल्टी, इंफ्रास्ट्रक्चर व एडवांस मशीनों की कोई कमी नहीं है, लेकिन सीनियर रेसीडेंट कम हैं। इसके चलते भी सीटें कम होने की संभावना बनी है, लेकिन अधिकारियों का कहना है कि पूरी सीटों की मान्यता मिल ही जाएगी। कांकेर, महासमुंद, कोरबा, दुर्ग समेत दूसरे कॉलेजों में फैकल्टी की सबसे ज्यादा कमी है। पिछले साल सिम्स बिलासपुर में एमबीबीएस की 30 सीटें कम कर दी गईं थीं। इस कारण चिकित्सा शिक्षा विभाग की चिंता बढ़ गई है। अब एनएमसी के पत्र का इंतजार किया जा रहा है। 15 जुलाई तक मान्यता संबंधी पत्र आने की संभावना है।

पैसे खिलाकर मान्यता लेने की फिराक में

नवा रायपुर स्थित रावतपुरा मेडिकल कॉलेज में सीबीआई की रेड के बाद स्पष्ट हो गया है कि कुछ निजी कॉलेज असेसर (एनएमसी के निरीक्षक) को पैसे खिलाकर मान्यता लेने की फिराक में है। पिछले साल ही कॉलेज को मान्यता मिली थी और इस साल 150 से 250 सीटें बढ़ाने के लिए निरीक्षण किया गया। इसमें 25 लाख रुपए की लेनदेन की खबर सामने आई है। सीबीआई ने असेसर समेत कॉलेज के डायरेक्टर समेत 6 लोगों को गिरफ्तार भी किया है। इस रेड के बाद मेडिकल जगत में इस बात की चर्चा जोर पकड़ रही है कि क्या निजी कॉलेज पैसे के दम पर मान्यता लाते है? पत्रिका को आधा दर्जन से ज्यादा डॉक्टरों का फोन आया कि ज्यादातर निजी कॉलेज लेनदेन कर मान्यता की फिराक में रहते हैं। हालांकि कुछ कॉलेज के डायरेक्टरों ने कहा कि अगर कॉलेज में फैकल्टी, इंफ्रास्ट्रक्चर, मरीज, सर्जरी की संख्या या एडवांस मशीनें हैं तो किसी असेसर को पैसे खिलाने की जरूरत नहीं है।

सरकारी मेडिकल कॉलेजों में फैकल्टी की स्थिति

कॉलेज पद स्वीकृत खाली
रायपुर प्रोफेसर 38 01 एसो. प्रोफेसर 91 29 असि. प्रोफेसर 166 76
बिलासपुर प्रोफेसर 24 10 एसो. प्रोफेसर 63 33 असि. प्रोफेसर 93 45
जगदलपुर प्रोफेसर 22 04 एसो. प्रोफेसर 33 11 असि. प्रोफेसर 50 29
रायगढ़ प्रोफेसर 22 11 एसो. प्रोफेसर 19 05 असि. प्रोफेसर 40 17
राजनांदगांव प्रोफेसर 23 13 एसो. प्रोफेसर 30 14 असि. प्रोफेसर 50 37

9 कॉलेज रेड जोन में

रायपुर ही आरेंज जोन में है, बाकी 9 कॉलेज रेड जोन में है। एमबीबीएस की सीटें घटेंगी या नहीं, यह एनएमसी के पत्र के बाद स्पष्ट होगा। हमें उम्मीद है कि सभी कॉलेजों को नए सत्र के लिए मान्यता मिल जाएगी। एनएमसी की बताई गई कमियों को दूर किया जा रहा है।
डॉ. यूएस पैकरा, डीएमई छत्तीसगढ़

Hindi News / Raipur / Alert News: इस कारण नए सत्र में घट सकती हैं सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की सीटें

ट्रेंडिंग वीडियो