Bayosa Temple: कथा के बाद बायोसा मंदिर तक कूच के आह्वान पर कथावाचक को रोका, धक्का-मुक्की में चोटिल, गर्माया माहौल
Bayosa Temple Controversy: जालोर दुर्ग की चढ़ाई पर स्थित बायोसा मंदिर दर्शन के लिए माहौल गर्मा गया। माहौल गर्माया तो पुलिस ने कड़ा रुख अपनाया। जानिए क्या बोले कथावाचक अभयदास महाराज-
Bayosa Temple Controversy: जालोर शहर के शहीद भगतसिंह स्टेडियम में चल रहे चातुर्मास महोत्सव की कथा के बाद जालोर दुर्ग की चढ़ाई पर स्थित बायोसा मंदिर दर्शन के लिए शुक्रवार को माहौल गर्मा गया। यहां कथा वाचक अभयदास महाराज के आह्वान के बाद महिलाओं ने कूच कर दिया था। महाराज की रवानगी के दौरान स्टेडियम के गेट पर मौजूद एडीएम राजेश मेवाड़ा, एएसपी मोटाराम और पुलिस उप अधीक्षक गौतम जैन ने उनसे समझाइश की। हालांकि कथावाचक महाराज ने जबरन जाने का प्रयास किया तो पुलिस सख्ती दिखाते हुए उन्हें रोक दिया। इस दौरान धक्का -मुक्की भी हुई।
माहौल गर्माया तो पुलिस ने कड़ा रुख अपनाया। कथावाचक फिर से पांडाल में आए और पिछली तरफ रोडवेज डिपो साइड के गेट से बाहर निकले, लेकिन पुलिस वहां पर भी मौजूद रही। अंत में कथा वाचक रोडवेज डिपो के पिछली तरफ पहुंचे, जहां पर काफी संख्या में शहरवासी मौजूद मिले। यहां धक्का-मुक्की और कथावाचक को पकड़ने के प्रयास के दौरान झड़प हुई और पुलिस को हलका बल प्रयोग करना पड़ा।
डीएसपी के वाहन का पिछला कांच तोड़ा
इस स्थिति में कथावाचक को वहां मौजूद लोग और कुछ महिलाएं एक घर में ले गई, जिसके बाद कथावाचक मकान की छत पर पहुंचे। जहां पर कथावाचक ने पुलिस प्रशासन और आयोजकों पर कई सवाल खड़े किए। इस दौरान मकान के बाहर बड़ी संख्या में लोग इकट्ठा हो गए। शाम को यहां पर मौजूद भीड़ में से किसी ने पुलिस उप अधीक्षक के वाहन के पीछे का कांच तोड़ दिया।
महिलाओं ने किया किले घाटी की तरफ कूच
शाम 5 बजे की आरती के बाद माहौल गर्मा गया। किले की घाटी की तरफ महिलाओं को रवाना होने का आह्वान किया गया। कथावाचक तो वहां नहीं पहुंच पाए, लेकिन बड़ी संख्या में महिलाएं नारेबाजी करते हुए शाम 5.30 बजे किले की घाटी की तरफ पहुंची। रास्ते में जगह-जगह पुलिस जाब्ता मौजूद रहा। किले की सीढ़ियोंपर पुलिस ने बेरियर लगाकर रास्ता बंद किया।
शाम करीब 6 बजे एसपी ज्ञानचंद्र यादव मौके पर पहुंचे। महिलाओं ने शांति बनाए रखने की अपील की। समझाइश के बाद महिलाओं को छोटे-छोटे समूहों में किले की सीढ़ियों पर स्थित बायोसा मंदिर दर्शन के लिए भेजा गया। जिसके बाद शाम ढले किले की घाटी में स्थिति नियंत्रण में थी। जबकि एहतियात के तौर पर जाब्ता तैनात रहा।
मेडिकल टीम पहुंची, जांच नहीं करवाई
रोडवेज डिपो के पीछे कथावाचक के स्वास्थ्य में गिरावट की सूचना पर मेडिकल टीम और एंबुलेंस मौके पर पहुंची, लेकिन उन्होंने स्वास्थ्य जांच से इनकार कर दिया। मौके पर पहुंची एंबुलेंस एक वापस लौटी तो एक एंबुलेंस को वहीं पर रोककर रखा।
रास्ता जाम किया, टायर जलाए
घटनाक्रम के विरोध में बड़ी संख्या में लोगों ने भीनमाल बायपास रोड की तरफ कूच किया। लोगों ने पुलिस प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और टायर जलाए। मौके पर मौजूद लोगों ने टायर फूंककर प्रशासन और पुलिस के खिलाफ नारेबाजी की।
इसलिए पुलिस प्रशासन ने बरती सजगता
3 दिन पहले कथा वाचक रात के समय बायोसा मंदिर दर्शन को पहुंचे थे। इस दौरान दर्शन के बाद उन्होंने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट की, जिसमें किले की घाटी की चढ़ाई पर समुदाय विशेष की ओर से अतिक्रमण की बात कही। इस पोस्ट के बाद से पुलिस प्रशासन अलर्ट मोड पर था और शुक्रवार को दुर्ग की तरफ कूच के आह्वान के बाद पुलिस प्रशासन ने कथावाचक को उस ओर जाने से रोका।
घाटी तक मैं स्वयं पहुंचा
किले की घाटी तक मैं स्वयं पहुंचा। मौके पर मौजूद महिलाओं से समझाइश की। छोटे-छोटे समूह में महिलाओं को मंदिर भेजा गया जो दर्शन कर लौट गई। मामला पूरी तरह से शांतिपूर्ण है।
ज्ञानचंद्र यादव, पुलिस अधीक्षक, जालोर
आमरण अनशन पर रहूंगा पुलिस ने मेरे कार्यकर्ताओं के साथ धक्का-मुक्की की। एक को डंडे से पीटा तो मैंने डंडा पकड़ लिया। मेरे कपड़े फाड़े। जब तक सभी सनातनियों के साथ बायोसा मंदिर में दर्शन नहीं करता, तब तक आमरण अनशन पर रहूंगा।
अभयदास महाराज, कथावाचक
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