हालांकि, वह भारतीय जनता पार्टी के रविंदर नेगी से लगभग 12,000 वोटों से पीछे चल रहे हैं, जबकि कांग्रेस के अनिल चौधरी (थोड़े अंतर से) तीसरे स्थान पर हैं। सुबह 11.10 बजे श्री नेगी को 30,891 वोट मिले थे, जबकि ओझा को 18,902 वोट मिले थे। पटपड़गंज को अवध ओझा के लिए एक ‘सुरक्षित सीट’ माना जा रहा था, यह भावना श्री सिसोदिया की टिप्पणियों से भी स्पष्ट होती है कि इस क्षेत्र को “दिल्ली में शिक्षा क्रांति के हृदय” के रूप में देखा जाता है।
कौन है अवध ओझा?
आवध ओझा एक प्रसिद्ध UPSC (संघ लोक सेवा आयोग) शिक्षक और समाजसेवी हैं। वे विशेष रूप से यूपीएससी की तैयारी करने वाले छात्रों के बीच काफी लोकप्रिय हैं। उनकी शिक्षण शैली और छात्रों के प्रति समर्पण ने उन्हें एक उत्कृष्ट और प्रभावशाली मार्गदर्शक बना दिया है। आवध ओझा ने अपनी शिक्षण यात्रा में कई छात्रों को यूपीएससी जैसी कठिन परीक्षा में सफलता दिलवाने में मदद की है। उनका दृष्टिकोण सिर्फ विषय तक सीमित नहीं रहता, बल्कि वे छात्रों को सामाजिक मुद्दों और राष्ट्रहित के बारे में भी जागरूक करते हैं।
AAP में एंट्री
राजनीति में प्रवेश के बाद, आवध ओझा ने समाज की सेवा और विभिन्न सामाजिक मुद्दों को सुलझाने का संकल्प लिया। उन्होंने अपनी राजनीतिक यात्रा में समाज में व्याप्त असमानताओं और भ्रष्ट्राचार के खिलाफ आवाज उठाई है। उनका मानना है कि यदि समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाना है, तो उसमें युवा वर्ग की भागीदारी और सही नेतृत्व की आवश्यकता है। उनके राजनीति में प्रवेश के बाद यह उम्मीद जताई जा रही है कि वे जनहित के मुद्दों पर काम करेंगे और समाज के लिए बदलाव लाने में मदद करेंगे।