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श्रेणी में निचले स्टेशन पर एस्केलेटर संचालित, बड़ा स्टेशन सुविधा से वंचित

एक से दूसरे प्लेटफार्म पर जाने में बुजुर्ग व बीमार यात्रियों की फूल रही सांसें

सिरोहीJul 08, 2025 / 03:48 pm

MAHENDRA SINGH VAGHELA

आबूरोड स्टेशन पर मावल साइड में बिना लिट का फुट ओवरब्रिज।

आबूरोड स्टेशन पर मावल साइड में बिना लिट का फुट ओवरब्रिज।

आबूरोड स्टेशन पर प्रतिवर्ष हजारों का यात्री भार, 80 यात्री ट्रेनों का होता आवागमन, फिर भी नहीं सुविधा

आबूरोड. अजमेर रेल मंडल में अजमेर स्टेशन के बाद सबसे प्रमुख आबूरोड स्टेशन पर यात्री भार अत्यधिक है। करीब 80 यात्री ट्रेनों का आवागमन होता है, जो यहां निश्चित समय ठहराव कर आगे बढ़ती है। लेकिन आश्चर्यजनक है कि यह उच्च श्रेणी का रेलवे स्टेशन आज भी यात्री सुविधाओं में पीछे है। स्टेशन से प्रतिवर्ष हजारों की संया में यात्री, जिनमें बड़ी संया में पर्यटक भी शामिल हैं, आवागमन करते हैं। इसके बावजूद अत्यावश्यक एस्केलेटर सुविधा की अनदेखी की जा रही है। जबकि कई सालों से इसकी मांग की जा रही है।

फालना में सुविधा, बड़े स्टेशन आबूरोड में नहीं

रेलवे विभाग की ओर से निर्धारित स्टेशनों के श्रेणी में एक पायदान नीचे फालना स्टेशन पर महीनों पहले एस्केलेटर (स्वचालित सीढ़ी) स्थापित कर दी, जिसका फायदा यात्रियों को मिल रहा है। लेकिन, श्रेणी में फालना से एक पायदान ऊपर आबूरोड स्टेशन पर एस्केलेटर सुविधा अभी तक मुहैया नहीं करवाई है। इस सुविधा के लिए विभाग के उच्चाधिकारियों को मौखिक व पत्र भेजकर कई बार अवगत करवाया, जिस पर आश्वासन के सिवा कुछ नहीं मिला। महकमे ने गंभीरता दिखाई होती तो फालना की तर्ज पर स्वचालित सीढ़ी का संचालन शुरू होता।

बुजुर्ग व बीमार यात्री परेशान

आबूरोड स्टेशन पर मोरथला व मावल स्टेशन साइड में दो फुट ओवरब्रिज है, जिनमें मोरथला साइड के ब्रिज के साथ लिट सुविधा है, लेकिन, मावल की तरफ ब्रिज पर न लिट न एस्केलेटर सुविधा है। ऐसे में इस ब्रिज करीब 70 सीढ़ियां चढ़ते समय वृद्ध व लंबे समय से विभिन्न बीमारियों से जूझ रहे यात्रियों के एक से दूसरे प्लेटफार्म पर जाने में पसीने छूट जाते हैं और श्वांस फूलने लगती है। ऐसे यात्रियों को बैठते व ब्रिज की रेलिंग पकड़कर रेंगते ब्रिज पार करते देखा जा सकता है।

अधिकारी ने भेजा था जवाब

अजमेर रेल मंडल के पूर्व डीआरयूसीसी सदस्य काशीराम रावल ने वर्ष 2023 में आबूरोड स्टेशन पर एस्केलेटर सुविधा की मांग की थी। इस पर तत्कालीन वरिष्ठ मंडल विद्युत अभियंता (सामान्य) अजमेर मंडल ने भेजे विभागीय पत्र में उल्लेख किया था कि आबूरोड स्टेशन पर वर्तमान में एस्कलेटर का कोई कार्य स्वीकृत नहीं है। फालना स्टेशन पर पूर्व में कार्य स्वीकृत होने के कारण एस्केलेटर लगाया है। आबूरोड स्टेशन पर एस्केलेटर का कार्य स्वीकृत होने पर लगाया जाएगा। पूर्व जेडआरयूसीसी सदस्य सागरमल अग्रवाल ने भी कई बार रेलवे प्रशासन से आबूरोड स्टेशन पर एस्केलेटर की मांग की थी।

जानिए, स्टेशनों की श्रेणी (कैटेगरी)

  • आबूरोड- एनएसजी 3
  • ब्यावर- एनएसजी 4
  • मारवाड़ जंक्शन- एनएसजी 4
  • फालना- एनएसजी 4
  • सोजत रोड- एनएसजी 5
  • रानी- एनएसजी 5
  • जवाई बांध- एनएसजी 5
  • पिंडवाड़ा- एनएसजी 5

इनका कहना

स्थानीय स्टेशन पर एस्केलेटर सुविधा के संबंध उच्च स्तर से किसी तरह का आदेश प्राप्त नहीं हुआ है।
महेंद्र यादव, स्टेशन अधीक्षक, आबूरोड

रेलकर्मियों ने मांगों को लेकर किया विरोध-प्रदर्शन

आबूरोड. विभिन्न मांगाें को लेकर प्रदर्शन करते रेलकर्मी।
आबूरोड. विभिन्न मांगाें को लेकर प्रदर्शन करते रेलकर्मी।
आबूरोड. उत्तर-पश्चिम रेलवे के चार मंडलों में सोमवार को सहायक मंडल अभियंता कार्यालयों के सामने नॉर्थ वेस्टर्न रेलवे एम्पलॉइज यूनियन के बैनर तले भोजनावकाश में रेलकर्मियों ने मांगों को लेकर विरोध-प्रदर्शन किया। इस क्रम में आबूरोड में रेल कर्मचारियों ने प्रदर्शन किया।
प्रदर्शन के दौरान एम्पलॉइज यूनियन के पदाधिकारियों ने कहा कि पेट्रोलिंग, आधुनिक टूल्स, टूल रुम और रेलवे आवासों के रखरखाव संबंधी समस्याओं का शीघ्र निवारण किया जाए। ट्रैकमैन की रात्रि पेट्रोलिंग की सीमा 12 किलोमीटर तक सीमित तथा पेट्रोलिंग में एक के बजाय दो कर्मचारी लगाए जाएं। सभी यूनिट पर पूर्ण सुविधायुक्त टूलरूम की व्यवस्था, तोड़े पुराने आवासों की जगह नए बनाने, रेलवे आवासों की मरम्मत, ट्रैकमैन को उत्तम क्वालिटी के सेफ्टी शूज, जैकेट, विंटर जैकेट, रेन कोट उपलब्ध कराने की मांग की। शिशुपाल ओझा मंडल उपाध्यक्ष, समदर सिंह राठौड़ सचिव, राकेश आचार्य, अजय भट्ट, राजेंद्र शर्मा, मेहताब खान, राहुल आदि रेल कर्मचारी मौजूद थे।

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