scriptप्रशासन ने की कार्रवाई की तैयारी: अक्षय तृतीया पर बाल विवाह हुई तो हलवाई, बैंड, पंडित के साथ कार्ड छापने वाले भी होंगे दोषी | Administration prepared to take action: If child marriage takes place on Akshaya Tritiya, then the confectioner, band, priest along with the card printers will also be guilty | Patrika News
सिंगरौली

प्रशासन ने की कार्रवाई की तैयारी: अक्षय तृतीया पर बाल विवाह हुई तो हलवाई, बैंड, पंडित के साथ कार्ड छापने वाले भी होंगे दोषी

बाल विवाह रोकने के लिए प्रशासन ने तय की रणनीति सिंगरौली. अक्षय तृतीया 30 अप्रेल को जिले में विभिन्न समाज जातियों के सामूहिक रूप से विवाह सम्मेलन का आयोजन किया जाएगा। विशेष रूप से बाल विवाह पर निगरानी रखने के लिए कलेक्टर के निर्देशानुसार जिला स्तर पर कंट्रोल रूम स्थापित करने का निर्देश दिया गया […]

सिंगरौलीApr 18, 2025 / 06:38 pm

Anil singh kushwah

बाल विवाह रोकने के लिए प्रशासन ने तय की रणनीति

बाल विवाह रोकने के लिए प्रशासन ने तय की रणनीति

बाल विवाह रोकने के लिए प्रशासन ने तय की रणनीति

सिंगरौली. अक्षय तृतीया 30 अप्रेल को जिले में विभिन्न समाज जातियों के सामूहिक रूप से विवाह सम्मेलन का आयोजन किया जाएगा। विशेष रूप से बाल विवाह पर निगरानी रखने के लिए कलेक्टर के निर्देशानुसार जिला स्तर पर कंट्रोल रूम स्थापित करने का निर्देश दिया गया है। साथ ही जिलास्तरीय कंट्रोल रूम के सुचारू संचालन के लिए नोडल अधिकारी प्रशासक, वन स्टॉप सेंटर और सहायक नोडल अधिकारी केस वर्कर को जिला स्तरीय कंट्रोल रूम प्रभारी के रूप में नियुक्त किया गया है। बाल विवाह संबंधी सूचना इन अधिकारियों के मोबाइल नंबर पर भी दी जा सकती है। जिले में बाल विवाह रोकने के लिए जिला प्रशासन ने सख्ती शुरू की है।
जिला प्रशासन ने सख्ती शुरू की
इसके तहत एक टॉस्क फोर्स बनाई गई है जो अक्षय तृतीया सहित अन्य मुहूर्त वाली शादियों की जांच करेगी। इसमें सामूहिक विवाह की शादियों की भी जांच की जाएगी। यदि कहीं बाल विवाह होता है तो इसके लिए उनके माता-पिता, रिश्तेदार के साथ ही हलवाई, बैंड, ब्याह कराने वाले पंडित, समाज के मुखिया, कार्ड छापने वाले ङ्क्षप्रङ्क्षटग प्रेस वाले सहित अन्य शादी में आने वाले भी दोषी रहेंगे। कलेक्टर ने इस बारे में जारी निर्देश में कहा है कि बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 के अनुसार विवाह के लिए लडक़े की आयु 21 और लडक़ी की आयु 18 वर्ष से अधिक होना चाहिए।
समितियों का गठन
बाल विवाह की रोकथाम के लिए गांव और ब्लॉकस्तर पर समितियों का गठन किया है। बाल विवाह न करने का परामर्श के लिए विकासखंड स्तर पर नियंत्रण कक्ष भी बनाए गए हैं। सामूहिक विवाह स्थल में वर वधु की उम्र संबंधी दस्तावेजों का प्रति परीक्षण अधिकारी-कर्मचारी के माध्यम से जन्म प्रमाण-पत्र, स्कूल की अंकसूची, आंगनबाडी़ केंद्र का रिकॉर्ड जांचा जाएगा। इन दस्तावेजों के अभाव में स्वास्थ्य विभाग से जारी मेडिकल प्रमाण पत्र मान्य होगा।
रिकॉर्डिंग से रखेंगे नजर
बताया गया कि जिले में होने वाले सामूहिक विवाह सम्मेलनों में होने वाली शादी के लिए वर-वधु की आयु के दस्तावेज जांचे जाएंगे। साथ ही सम्मेलन के दौरान वीडियोग्रॉफी करवाई जाएगी।आयोजकों से शपथ पत्र प्राप्त किया जाएगा कि वे अपने आयोजन में बाल विवाह संपन्न नहीं करेंगे। ङ्क्षप्रङ्क्षटग प्रेस, हलवाई, केटरर, धर्मगुरु, बैंडवाला, ट्रांसपोर्ट एवं समाज के मुखिया से अपील किया गया है कि उम्र संबंधी प्रमाण पत्र प्राप्त कर परीक्षण के उपरांत ही विवाह में सेवाएं प्रदान करें। ङ्क्षप्रङ्क्षटग प्रेस में मुद्रित की जा रही विवाह पत्रिकाओं में वर-वधु की विवाह योग्य विधि अनुरूप मान्य उम्र का स्पष्ट उल्लेख करें।

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