टेक्निकल टेक्सटाइल बजट में क्या टेक्निकल टेक्सटाइल से जुड़ी मशीनें विदेशों से आयात होती हैं। महंगी होती हैं। इन पर पहले 7.5 फीसदी इंपोर्ट ड्यूटी थी। इस बजट में इसे खत्म करने का ऐलान किया गया।
क्या फायदा सर्जिकल ग्लब्स, मास्क से लेकर जुड़े दूसरे सामान इस कैटेगरी में आते हैं। इससे जुड़ी मशीनें विदेशों से आयात होती हैं। महंगी हैं। अब इंपोर्ट ड्यूटी खत्म तो इसकी यूनिट बढ़ेंगी। सर्जिकल ग्लब्स से लेकर मास्क तक पर हमारी निर्भरता आयात से घटेगी। स्थानीय स्तर पर कुछ नई यूनिट खड़ी होगी। इनको नया बाजार मिलेगा। इससे मशीनरी में निवेश बढ़ेगा। भारत में टेक्निकल टेक्सटाइल का उत्पादन भी बढ़ेगा।
नीटेड फेब्रिक: बजट में क्या वित्त मंत्री ने विदेश से आयात होने वाले नीटेड फ्रेबिक पर 20 फीसदी बेसिक कस्टम ड्यूटी लगाई है। इसके साथ ही स्पष्ट कर दिया है कि यह ड्यूटी 115 रुपए प्रति किलो कम से कम होगी।
क्या फायदा भीलवाड़ा में कुछ उद्यमी नीटेड फैब्रिक का उत्पादन कर रहे हैं। नीटेड फैब्रिक पर टी-शर्ट,लेगिन, स्पोर्ट के कपड़े आदि बनते हैं। इंपोर्ट ड्यूटी बढ़ने से इसकी कीमतें बढ़ेंगी। विदेश से आया फैब्रिक महंगा होगा। इस कारण घरेलू उद्यमियों को प्रतिस्पर्धा में टिकने का मौका मिलेगा। स्थानीय यूनिट को नया बाजार मिलेगा। टैक्स चोरी भी घटेगी।
हार्ड टेक्नोलॉजी वीविंग मशीन बजट में क्या हाई टेक्नोलॉजी वीविंग मशीनों पर इंपोर्ट ड्यूटी छूट बरकरार रखी। क्या फायदा मशीनों के इंपोर्ट पर छूट मार्च में खत्म हो रही थी, कारोबारियों की मांग थी। जिसे सरकार ने बरकरार रखा। इंडस्टी को राहत मिलेगी।
प्रोडक्शन लिंक इंसेंटिव बजट में क्याः प्रोडक्शन लिंक इंसेंटिव का बजट 45 करोड़ से बढ़ाकर 1148 करोड़ हुआ। क्या फायदाः सीधा फायदा टेक्सटाइल कारोबारियों को मिलेगा। उन्हें अपने प्रोडक्शन को बढ़ाने में मदद मिलेगी।
एटीयूएफ की मांग पूरी बजट में क्या: टेक्नोलॉजी अपग्रेडेशन फंड स्कीम की मांग लगातार इंडस्ट्री से हो रही थी। सरकार ने इसके लिए बजट बढ़ाकर 635 करोड़ किया। क्या फायदा: अमेंडेंड टेक्नोलॉजी अपग्रेडेशन फंड (एटीयूएफ) स्कीम की मांग थी, जिसे सरकार ने माना।बजट 390 करोड़ से बढ़ाकर 635 करोड़ किया। मशीन और टेक्नोलॉजी अपग्रेड करने में कारोबारियों को मदद मिलेगी।