वर्तमान में चल रहे कोर्स के अलावा 11 नए कोर्स हो रहे शुरु
इस दिशा में विश्वविद्यालय ने कई कदम उठाए हैं, जिसमें विभिन्न डिप्लोमा पाठ्यक्रमों की शुरुआत शामिल है। आने वाले सत्र में, 34 रोजगारमूलक कोर्स शुरू होंगे, जिनमें से 11 नए डिप्लोमा कोर्स सत्र 2025-26 में शुरू किए जाएंगे। वर्तमान में विश्वविद्यालय में 5 यूजी डिप्लोमा, 7 पीजी डिप्लोमा और 11 वोकेशनल कोर्स चल रहे हैं। इन पाठ्यक्रमों के माध्यम से विद्यार्थियों को विभिन्न क्षेत्रों में कौशल आधारित प्रशिक्षण दिया जाएगा, जिससे उन्हें रोजगार के नए अवसर प्राप्त हो सकेंगे।
इन कोर्स की मिलेगी सुविधा
इन रोजगारमूलक कोर्सों में डिप्लोमा इन योगा, इंटरनेट ऑफ थिंग्स, परफॉर्मिंग आट्र्स, स्पोकेन इंग्लिश, लोक प्रशासन, मिनिरल एक्स्प्लोरेशन और पर्यटन जैसे महत्वपूर्ण पाठ्यक्रम शामिल हैं। इसके अलावा, आगामी सत्र में डिप्लोमा इन अकाउंटिंग एंड टैक्सेशन, ई-कॉमर्स, लीगल सपोर्ट, खगोलभौतिकी, चुनाव विज्ञान, वैदिक गणित, बोलचाल में संस्कृत, राजनीतिक नेतृत्व और शासन, बीमा, फ्लोरीकल्चर, और पेशेवर हिन्दी जैसे पाठ्यक्रम प्रारंभ किए जाएंगे।
व्यावहारिक ज्ञान दिलाने के मकसद से रोजगारमूलक पाठ्यक्रम बढ़ा रहे
इस विस्तार से विश्वविद्यालय का उद्देश्य है कि छात्रों को न केवल शैक्षणिक ज्ञान मिले, बल्कि वे व्यावहारिक अनुभव प्राप्त कर सकें, जो उनके करियर की दिशा को बेहतर बनाए। विश्वविद्यालय में अकादमिक गतिविधियों का भी नियमित आयोजन किया जाता है, जिसमें विभिन्न संगोष्ठियां, सेमिनार और कार्यशालाओं का आयोजन किया जाता है, जो छात्रों के बौद्धिक उन्नयन में मददगार होते हैं।
कौशल सुधार व आत्मविश्वास बढ़ाने की हो रही गतिविधियां
इसके अतिरिक्त, विश्वविद्यालय विद्यार्थियों को शैक्षणिक भ्रमण, प्रोजेक्ट वर्क, और अन्य व्यावहारिक कार्यों के माध्यम से शिक्षा का अनुभव प्रदान करता है। छात्रों को उनके क्षेत्र में विशेषज्ञों के समक्ष अपनी प्रस्तुतियां देने का भी अवसर मिलता है, जिससे उनके कौशल में सुधार होता है और वे आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ते हैं। विश्वविद्यालय का मानना है कि इस तरह के अनुभव छात्रों को न केवल शैक्षिक दृष्टिकोण से बल्कि पेशेवर दृष्टिकोण से भी सशक्त बनाते हैं।
प्रतिभा निखारने के और भी अवसर
साथ ही, विश्वविद्यालय ने अपनी शैक्षणिक और बौद्धिक गतिविधियों की गुणवत्ता को भी बढ़ाया है। ई-लाइब्रेरी, थियेटर और रिकॉर्डिंग रूम जैसी सुविधाओं के माध्यम से छात्रों को बेहतर अध्ययन का माहौल दिया जा रहा है। इसके अलावा, विश्वविद्यालय में विभिन्न सांस्कृतिक, साहित्यिक, युवा उत्सव, एनसीसी और एनएसएस गतिविधियों के आयोजन से छात्रों को अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर मिलता है, और वे समाज की सेवा में भी सक्रिय रूप से योगदान देते हैं। इन सभी पहलुओं के माध्यम से, महाराजा छत्रसाल बुंदेलखंड विश्वविद्यालय ने एक ऐसा शैक्षिक माहौल तैयार किया है, जो छात्रों के सर्वांगीण विकास को प्रोत्साहित करता है और उन्हें आधुनिक उद्योगों में सफलता पाने के लिए तैयार करता है।
छात्रों की शैक्षणिक और बौद्धिक गतिविधियों की गुणवत्ता को बढ़ाने के प्रयास लगातार किए जा रहे हैं। रोजगारमूलक पाठ्यक्रम नई शिक्षा नीति के अनुरुप छात्रों को सुनहरे भविष्य के लिए तैयार करने के उद्देश्य से चलाए जा रहे हैं। इन कोर्स में नए पाठ्यक्रम जुडऩ़े से यूटीडी स्तर पर छात्रों को और बेहतर अवसर मिल सकेंगे।
शुभा तिवारी, कुलगुरु, महाराजा छत्रसाल बुंदेलखंड विश्वविद्यालय