आपको इतना बड़ा नाम और काम दे दिया तो पीछे हटने की जरूरत नहीं है। आप काम करने की इच्छाशक्ति रखिए, पैसा तो उड़ रहा, पकड़ने वाला चाहिए। आप योजनाएं बनाएं, किसी तरह की चिंता करने की जरूरत नहीं है। गांव में विकास भी करें और सेवा कार्य में भी कोई कसर नहीं छोड़ें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि चेक साइन करने का अधिकार सरपंच के अलावा किसी जनप्रतिनिधि को नहीं है। इसलिए मैं कहता हूं सरपंच सबसे बड़ा जनप्रतिनिधि होता है। उन्होंने कहा, हमारे विरोधियों से कहता हूं, जो कहा है वो करके दिखाएंगे। आपकी तरह हम नहीं करेंगे।
कहते कुछ और करते कुछ हैं। हमने एक लाख नौकरी देने की घोषणा की थी। हम 60 हजार नियुक्ति पत्र दे चुके। 15 हजार को और दे देंगे तो 75 हजार हो जाएंगे। जुलाई में हमारा बजट आया था। हमने कहा था हम पूरी एक लाख नौकरी देंगे। 81 हजार वैकेंसी हर क्षेत्र में निकली है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने किसान सम्मान निधि में नाम जुड़वाने के लिए किसानों के केंद्र को नाम तक नहीं भेजे थे। इसमें उनका क्या जा रहा था। कांग्रेस राज में किसान परेशान रहे। अगर नाम जोड़ देते तो किसानों को किसान सम्मान निधि मिल जाती।
हमारी सरकार ने आते ही 7.50 लाख किसानों के नाम जोड़कर किसान सम्मान निधि दिलवाई। पंचायतीराज मंत्री मदन दिलावर ने कहा कि पंचायतीराज जनप्रतिनिधि अपने ग्रामवासियों से सीधे सम्पर्क में रहते है, इसलिए गांव की समस्याओं के निराकरण जो जोर दें। गांवों को गंदगी और प्लास्टिक मुक्त बनाएं।