इनकी की जा रही मरम्मत-
एसआरजी चिकित्सालय व मेडिकल कॉलेज में लंबे समय से जर्जर पड़े बिजली के पैनल व बोर्ड को बदला जा रहा है। सैंट्रल एसी यूनिट के पैनल को बदल कर अपडेट किया जा रहा है। जहां से पूरे मेडिकल कॉलेज के सिस्टम को चलाया जाता था। इस कार्य पर करीब 52 लाख रुपए खर्च होंगे। वहीं पूरे कार्य पर करीब डेढ़ करोड़ रुपए खर्च होंगे।
दो बड़ी मोटर बदली-
एसी कूलिंग सिस्टम में काम नहीं कर रही दो पुरानी मोटर को भी बदला गया है। एसी की हैवी मोटर होने से बार-बार एयर कूलिंग में समस्या आती थी, लेकिन अब दो नई मोटर लगाने से कुलिंग भी अच्छी होगी। वहीं कुछ मोटरों की रिपेयरिंग की गई है।
तय रेट से कम का हुआ टेंडर-
मेडिकल कॉलेज में बिजली तंत्र को सुधारने का टेंडर 2 करोड़ का था, लेकिन टेंडर बिलो रेट का डालने से मरम्मत का टेंडर डेढ़ करोड़ का ही हुआ। इस राशि से मेडिकल कॉलेज में मरम्मत के कार्य 15 अप्रेल 2025 तक पूर्ण कर लिए जाएंगे। पूरे मेडिकल कॉलेज की वायरिंग व पैनल पूरी तरह से नए हो जाएंगे। ऐसे में बार-बार फॉल्ट व स्पार्किंग की परेशानी अब नहीं होगी।
सब कुछ सुधारने के लिएढ़ाई करोड़ चाहिए-
सूत्रों ने बताया कि एसआरजी चिकित्सालय व उसके वार्ड के विद्युत तंत्र को सुधारने के लिए करीब ढ़ाई करोड़ का बजट चाहिए। इसका काम बजट आने पर अगले चरण में किया जाएगा। यहां भी कई बार ओटी की लाइट जाने व आईसीयू में लाइट बंद होने से मरीजों व तिमारदारों को भीषण गर्मी में खासी परेशानी होती है। इस ओर भी प्रशासन को ध्यान देना चाहिए।
कुछ मोटरें बदली है-
एसआरजी चिकित्सालय एवं मेडिकल कॉलेज में विद्युत के जर्जर अवस्था में पड़े पैनल व बोर्ड की मरम्मत की जा रही है। इसमें कुछ मोटरें नई लगाई गई है, कुछ की मरम्मत की गई है। रिपेयरिंग का काफी काम हो गया है। बचा हुआ काम 15 अप्रेल तक पूर्ण कर लिया जाएगा।
रचित शर्मा, एक्सईएन, बिजली विभाग, पीडब्ल्यूडी।