पूर्वी उत्तर प्रदेश में कमजोर रहेगा मानसून
वहीं दूसरी ओर पूर्वी उत्तर प्रदेश के जिलों जैसे गोरखपुर, बलिया, आजमगढ़, बनारस और आसपास के इलाकों में मानसून की सक्रियता फिलहाल कमजोर रहेगी। यहां पर छिटपुट बूंदाबांदी या हल्की बारिश हो सकती है लेकिन भारी वर्षा की कोई संभावना नहीं है। इससे इन क्षेत्रों में खेतों की सिंचाई और जलस्तर पर असर पड़ सकता है। किसान वर्ग मानसून की सक्रियता का बेसब्री से इंतजार कर रहा है।
पर्वतीय क्षेत्रों में बढ़ा खतरा
बारिश की वजह से उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश जैसे पर्वतीय राज्यों में नदियों का जलस्तर बढ़ने की आशंका है, जिसका असर उत्तर प्रदेश के तराई क्षेत्रों पर भी पड़ सकता है। नदियों के किनारे बसे जिलों में बाढ़ और जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। विशेष रूप से शारदा, घाघरा, राप्ती और गंडक नदियों का जलस्तर बढ़ने की संभावना है। प्रशासन ने निचले इलाकों में रहने वाले लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है।
प्रशासन अलर्ट मोड पर
जलभराव और संभावित बाढ़ को लेकर प्रदेश सरकार और स्थानीय प्रशासन अलर्ट मोड में आ गया है। नगर निगमों और जिला प्रशासन को जल निकासी की व्यवस्था दुरुस्त करने और राहत-बचाव दलों को तैयार रखने के निर्देश दिए गए हैं। आपदा प्रबंधन विभाग ने हेल्पलाइन नंबर भी सक्रिय कर दिए हैं ताकि किसी आपात स्थिति में त्वरित सहायता दी जा सके।
स्वास्थ्य और यातायात पर प्रभाव
भारी बारिश से जहां एक ओर राहत की उम्मीद है, वहीं इसके कारण स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां भी सामने आ सकती हैं। मलेरिया, डेंगू, वायरल बुखार जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। स्वास्थ्य विभाग ने सभी जिलों को एडवाइजरी जारी कर दी है। इसके अलावा कई इलाकों में जलभराव के कारण सड़कों की हालत खराब हो सकती है, जिससे यातायात बाधित होगा। विशेषकर शहरी क्षेत्रों में ट्रैफिक जाम और दुर्घटनाओं की संभावना बढ़ जाएगी।
किसानों को होगी राहत
भारी बारिश की संभावना से सबसे अधिक राहत किसान वर्ग को मिलेगी। खरीफ की फसलों के लिए पर्याप्त जल की आवश्यकता होती है। पिछले कुछ सप्ताह से बारिश की कमी से खेत सूखे पड़े थे, लेकिन अब बारिश से सिंचाई की समस्या काफी हद तक हल हो जाएगी। कृषि विभाग ने किसानों को सलाह दी है कि वे वर्षा के अनुसार बुआई की योजना बनाएं और जल संचयन की व्यवस्था करें।
बिजली आपूर्ति पर असर
बारिश और तेज हवाओं के कारण बिजली आपूर्ति प्रभावित हो सकती है। कई स्थानों पर ट्रांसफार्मर और बिजली के खंभे गिरने की आशंका जताई गई है। ऊर्जा विभाग ने बिजली आपूर्ति को बनाए रखने के लिए सभी इंजीनियरों और कर्मचारियों को तैयार रहने को कहा है।
रेलवे और विमान सेवा पर नजर
मौसम विभाग की चेतावनी के बाद रेलवे और हवाई अड्डों पर निगरानी बढ़ा दी गई है। भारी बारिश के चलते ट्रेनों के संचालन में देरी हो सकती है, वहीं कुछ उड़ानें भी प्रभावित हो सकती हैं। यात्रियों को सफर पर निकलने से पहले मौसम अपडेट और यात्रा स्थिति की जानकारी लेने की सलाह दी गई है।
अगले 5 दिन होंगे महत्वपूर्ण
मौसम विभाग के अनुसार अगले 3 से 5 दिन उत्तर प्रदेश के लिए बेहद महत्वपूर्ण होंगे। पश्चिमी जिलों में बारिश की तीव्रता ज्यादा रहेगी। वहीं पूर्वी और मध्य जिलों में स्थिति धीरे-धीरे सुधरेगी। यदि ट्रफ लाइन अपनी दिशा बनाए रखती है तो पूरे प्रदेश में मानसून की व्यापक सक्रियता देखने को मिल सकती है।
मौसम विभाग की चेतावनी
मौसम विभाग ने चेतावनी जारी करते हुए कहा है कि भारी बारिश के दौरान लोग अनावश्यक बाहर न निकलें। बिजली चमकने की स्थिति में खुले स्थानों से बचें और सुरक्षित स्थानों पर शरण लें। नदियों के किनारे या जलभराव वाले इलाकों में न जाएं।