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छिंदवाड़ा

लाड़ली बहना से याद आया कि 60 वर्ष हो चुकी है उम्र

-दो साल में 10 हजार 963 महिलाएं योजना से बाहर,अब वृद्धावस्था पेंशन में पा रही 600 रुपए माहवार

छिंदवाड़ाApr 25, 2025 / 11:19 am

manohar soni

Ladli Behna Yojana 23th installment

Ladli Behna Yojana 23th installment

साठ वर्ष तक सरकार की लाड़ली बहना थी,तब हाथ में 1250 रुपए मासिक आते थे। जैसे ही इस उम्र को पार किया तो वृद्धावस्था पेंशन में 600 रुपए माहवार पा रही है। ये ऐसी महिलाओं की कहानी है,जिन्हें सरकारी नियम के चलते लाड़ली बहना योजना से बाहर होना पड़ा है।

राज्य शासन की सबसे महत्वपूर्ण लाड़ली बहना योजना में लगातार दूसरे साल 2025 में 60 वर्ष की आयु पार होने पर 10 हजार 963 महिलाएं लाड़ली नहीं रही। इन्हें 1250 रुपए मासिक राशि के लाभ से अलग कर दिया गया। अब केवल 392912 महिलाएं ही इस योजना में शेष बताई गई है।

शुरुआत में थी 4.07 लाख महिलाएं

महिला बाल विकास विभाग के पोर्टल के अनुसार छिंदवाड़ा और पांढुर्ना जिले में मई से दिसम्बर 2023 तक 4 लाख 7 हजार 38 महिलाओं का पंजीयन किया गया था। इनमें से इस माह अप्रेल में केवल 3.92 लाख महिलाओं के खाते में 1250 रुपए प्रति हितग्राही के हिसाब से 47 करोड़ रुपए डाले गए।


646 महिलाएं मृत, 890 ने छोड़ा लाभ

दूसरे वर्ष इस पोर्टल में 60 वर्ष की आयु तथा हितलाभ त्याग करने वाली महिलाओं की संख्या तो है ही, साथ ही योजना में 690 महिलाएं अपात्र तथा 646 महिलाएं मृत होना बताई गई है। इसके अलावा समग्र से डिलीट 399 तथा आधार से समग्र का संपर्क टूटने में 505 महिलाएं है। इस वजह से लाड़ली बहनोंं की संख्या में गिरावट दर्ज की गई है। इसके अलावा 890 महिलाओं ने अपने लाभ का त्याग कर दिया।

शुरुआत में 4.15 लाख था पंजीयन, धीरे-धीरे हटाए

विधानसभा चुनाव की आचार संहिता 9 अक्टूबर 23 से पहले लाड़ली बहनों की रजिस्टर्ड संख्या 4.15 लाख बताई गई थी। इनमें से आठ हजार महिलाओं के नामों को स्वीकृति नहीं मिल सकी। विभागीय जानकारी में केवल 4 लाख 7 हजार महिलाओं के आवेदन मिलना बताए गए। उसके बाद अपात्र, साठ वर्ष की आयु, लाभ त्याग, मृत, समग्र से डिलीट नाम हटाए गए।

शहरी और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिली

लाड़ली बहना योजना में महिलाओं को हर माह करीब 47 करोड़ रुपए हर माह मिल रहे हैं। इससे शहरी और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिल गई है। सामान की खरीदी-बिक्री से बाजार में नगदी आ रही है। व्यवसायी मान रहे हैं कि डेढ़ साल से लगातार लाड़ली बहना की राशि प्राप्त होने से गरीब महिलाओं की हाथों में क्रय शक्ति आई है। वे खान-पान की चीजों के साथ मनपसंद वस्तुएं खरीदने उत्सुक हुई है।

इस वजह से हटी महिलाओं की संख्या

अपात्र महिलाओं की संख्या-690
लाभ परित्याग करने वाली महिलाएं-890
मृत महिलाओं की संख्या-646
समग्र से डिलीट महिलाएं-426
आधार से समग्र डि-लिंक महिलाएं-505
60 वर्ष से अधिक आयु की महिलाएं-10963
कुल पात्र महिलाएं-392912

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