माफिया अतीक और अशरफ को जेल में सुविधा मुहैया कराता था गैंग
प्रयागराज में अधिवक्ता उमेश पाल हत्याकांड के बाद अशरफ को बरेली जिला जेल में स्थानांतरित किया गया था। अपने साले सद्दाम ने अशरफ की मदद के लिए प्रयागराज से बरेली आकर फाइक एन्क्लेव के खुशबू एन्क्लेव में ठिकाना बनाया। यहां उसने 2023 में 11 बदमाशों का गिरोह बनाकर जमीनों के अवैध सौदे और कब्जे शुरू कर दिए। मार्च 2023 में पुलिस को पता चला कि यह गिरोह जेल में अशरफ को सुविधाएं मुहैया करा रहा था। सीसीटीवी फुटेज में यह खुलासा हुआ कि सद्दाम और उसके गुर्गे अशरफ को खाने-पीने की वस्तुएं, मोबाइल फोन और अन्य सामग्री पहुंचा रहे थे। इस मामले में बिथरी चैनपुर पुलिस ने अशरफ, सद्दाम और उनके सहयोगियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था।
एसडीएम सदर को किया गया प्रशासक नियुक्त
जिलाधिकारी न्यायालय ने 19 फरवरी 2025 को आदेश जारी कर सद्दाम और लल्ला गद्दी की हरूनगला स्थित 5.29 करोड़ रुपये मूल्य की तीन बीघा जमीन को कुर्क करने के निर्देश दिए। सद्दाम बदायूं जेल में बंद है। लल्ला गद्दी हाल में जमानत पर जेल से बाहर आया है। सदर तहसील की टीम ने बदायूं जेल में संपर्क कर नोटिस तामील कराया। जारी आदेश के अनुसार सद्दाम व लल्ला गद्दी की हरूनगला स्थित भूमि गाटा संख्या 530 व 531 रकबा 1.580 हेक्टेयर में से 1/10 भाग करीब तीन बीघा भूमि को गिरोहबंद एवं समाज विरोधी क्रियाकलाप निवारण अधिनियम 1986 की धारा (14) 1 के तहत राज्य सरकार के पक्ष में कुर्क किया गया। इसकी अनुमानित कीमत 5,29,44,360 रुपये है।